Uttar Pradesh

बुन्देलखण्ड गौरव महोत्सव में हुए विस्फोट के दोनों आरोपियों की जमानत याचिका खारिज

चित्रकूट, 07 मार्च (Udaipur Kiran) । बुन्देलखण्ड गौरव महोत्सव के दौरान हुए धमाके में चार बच्चों की मौत के मामले में जेल में बंद दो आरोपियों की जमानत सत्र न्यायाधीश विकास कुमार प्रथम ने खारिज कर दी है। न्यायालय ने दोनों आरोपियों की लापरवाही के कारण विस्फोट से चार बच्चों की मौत को गंभीर अपराध करार देते हुए जमानत प्रार्थना पत्र निरस्त कर दिया है।

जिला शासकीय अधिवक्ता श्यामसुन्दर मिश्रा ने बताया कि बीती 14 फरवरी को कर्वी कोतवाली के अपराध निरीक्षक आशुतोष तिवारी ने रिपोर्ट दर्ज कराई थी। जिसमें उन्होंने कहा था कि कर्वी चित्रकूट इण्टर काॅलिज में 13 फरवरी से बुन्देलखण्ड गौरव महोत्सव कार्यक्रम चल रहा था। जिसके दूसरे दिन रात 9 बजे से आतिशबाजी कार्यक्रम प्रस्तावित था।

जिसे डोम इंटरटेनमेंट प्राइवेट लिमिटेड कम्पनी के प्रोपराइटर हर्ष कामदार की देखरेख में इंदौर निवासी पंकज जाट द्वारा अन्य साथियों के असेम्बलिंग की जा रही थी। इस दौरान दोपहर लगभग तीन बजे आतिशबाजी असेम्बलिंग के दौरान अचानक किसी कारणवश आतिशबाजी में रखे सामान में विस्फोट हो गया। जिसमें मौके पर चार लोग गम्भीर रूप से घायल हो गए। जिला चिकित्सालय ले जाने पर दो को चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया। जबकि अन्य दो को रेफर कर दिया गया।

प्रयागराज ले जाने पर इन दोनों की भी चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया। मृत बच्चों की शिनाख्त मोहित (16), प्रभात (11), अंजनेय उर्फ यश मिश्रा (11) एवं पारस शर्मा (13) के रूप में हुई थी। पुलिस ने इस मामले में रिपोर्ट दर्ज करने के बाद बुन्देलखण्ड महोत्सव कार्यक्रम में आतिशबाजी की टेण्डर लेने वाली कम्पनी डोम इंटरप्राइजेज के प्रोपराइटर के हर्ष कामदार व पंकज जाट को गिरफ्तार किया था।

चार बच्चों की मौत के कारण प्रदेश स्तर पर चर्चा का विषय बने इस मामले में जेल में बंद दोनों आरोपियों ने अधिवक्ता के जरिए न्यायालय में जमानत प्रार्थना पत्र प्रस्तुत किया था। बचाव और अभियोजन पक्ष के अधिवक्ताओं की दलीलें सुनने के बाद सत्र न्यायाधीश विकास कुमार प्रथम ने जमानत प्रार्थना पत्र निरस्त कर दिया।

उन्होंने कहा कि इस कार्यक्रम में आरोपियों की लापरवाही के कारण विस्फोट से चार बच्चों की दर्दनाक मौत हुई है। इस वृहद कार्यक्रम का सुरक्षित सम्पादन कम्पनी की जिम्मेदारी थी। गैर जिम्मेदारी व लापरवाही के कारण यह घटना हुई है। ऐसे में अपराध की गंभीरता को देखते हुए दोनों आरोपियों को जमानत नहीं प्रदान की जा सकती है।

(Udaipur Kiran) /रतन/बृजनंदन

Most Popular

To Top