RAJASTHAN

रावजी की गेर ने मचाई धूम, जनसमूह उमड़ा

जमकर हुआ श्लील गायन

जोधपुर, 26 मार्च (Udaipur Kiran) । मारवाड़ की परंपरानुसार प्रतिवर्ष होली के दिन निकलने वाली रावजी की गेर सोमवार को मंडोर में धूमधाम से निकाली गई। इस गेर को देखने के लिए भारी भीड़ उमड़ पड़ी। गेर के दौरान कई क्षेत्रों से लोग गेर लेकर आए। होली की ठिठोली और चंग की थाप पर गेरियों ने जमकर श्लील गायन से आसपास के क्षेत्र को गुंजानमान कर दिया। राव राजा के नाम पर नवविवाहित युवक पर सर्व सहमति के बाद उसे विधिवत आशीर्वाद प्रदान कर रवाना किया गया। गेर में कई जनप्रतिनिधियों ने शिरकत की।

वैसे तो देश के अलग-अलग इलाकों की होली प्रसिद्ध है चाहे फिर वो वृन्दावन, मथुरा या फिर राजस्थान की लट्ठमार होली हो लेकिन प्रदेश की धार्मिक व सांस्कृतिक राजधानी कहे जाने वाले जोधपुर शहर के मंडोर इलाके में सालों से चली आ रही माली समाज की रावजी की गेर का क्रेज आज भी लोगों में देखने को मिलता है। इसमें खास बात यह है कि इस गेर में परिवार की तीनों पीढिय़ां एक साथ ढोल की थाप पर पैरों में घुंघरू व हाथ में हॉकी-डंडे के साथ अश्लील गायन करते नजर आते है। इस गेर में अश्लील गायन के कारण महिलाओं का प्रवेश वर्जित होता है। यह गेर मंडोर में निकाली जाती है। गेर में शामिल अधिकांश युवा हाथों में लाठी-डंडे आदि थामे रहते है। होली के अवसर पर दोपहर रावजी की गेर धूमधाम से निकाली गई।

मंडावता बेरा मंदिर चौक से पूजा अर्चना कर रावजी की गेर रवाना होकर खोखरिया बेरा पहुंची। यहां पर समाज के वरिष्ठ लोगों की ओर से स्नेह मिलन कार्यक्रम हुआ। गेर भिंयाली बेरा, गोपी का बेरा, बड़ा बेरा, आमली बेरा होते हुए फतेहबाग बेरा मंदिर पहुंची। यहां खोखरिया बेरा की गेर से बुजुर्गों की ओर से नवविवाहित युवा का चयन कर उसे राव-राजा बनाया गया। देव भोग घुघरी का प्रसाद चढ़ाने के बाद रावजी की गेर अपने निर्धारित गंतव्य मंडोर उद्यान में स्थित नाग कुंड रवाना हो गई।

चयनित राव राजा को रंग-बिरंगे परिधानों और लता-पताओं से सुसज्जित कर उसके इर्द-गिर्द चंग की थाप पर गेर की टोलियां नृत्य व गीत गाते हुए साथ चली। इस दौरान फूलबाग बेरा, नागौरी बेरा, मंडोर बेरा, पदाला बेरा की गेरें भी रावजी की गेर में शामिल हुईं। हजारों की तादाद में गेरिये होली की धुनों पर थिरकते हुए खोखरिया बेरा पहुंचे। यहां बने कुंड में गेरियों ने जमकर होली खेली और चंग की थाप पर थिरके।

पुलिस का माकूल बंदोबस्त भी यहां देखा गया। इस तालाब पर पहुंच सबसे पहले राव ने पानी में छलांग लगाई। इसके साथ ही अन्य युवक भी पानी में कूद पड़े। सभी के स्नान करने के बाद यह गेर विसर्जित हो गई। बता दे कि रावजी की गेर में एक युवक राव बन नाचता-गाता आगे बढ़ता है। रावजी की गेर का आकर्षण यही राव होता है।

(Udaipur Kiran) /ईश्वर

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