Uttrakhand

अमेरिकी विश्वविद्यालय के प्रोफेसर ने कुमाऊं विश्वविद्यालय में दिया ऑनलाइन माध्यम से व्याख्यान

प्रो. बी वांग।

-जहरीली गैस कार्बन मोनो ऑक्साइड के लाभ भी बताये

नैनीताल, 11 अप्रैल (Udaipur Kiran) । अमेरिका की ‘स्टेट यूनिवर्सिटी ऑफ जॉर्जिया’ के मेडिसिनल केमिस्ट्री के प्रोफेसर डॉ. बी वांग ने बुधवार को कुमाऊं विश्वविद्यालय में ऑनलाइन माध्यम से व्याख्यान दिया।

इस दौरान उन्होंने “डिफाइंग कन्वेंशनल विजडमरू स्टडीइंग कार्बन मोनोऑक्साइड ऐज ए पोटेंशियल थेरप्यूटिक एजेंट’ विषय पर बोलते हुए जहरीली गैस-कार्बन मोनोऑक्साइड से इलाज के कारगर तरीके बताए।

कुलपति प्रो.दीवान रावत की पहल पर आयोजित इस व्याख्यान में प्रो.वांग ने कई शोधों का हवाला देते हुए समझाया कि जहरीली कार्बन मोनो ऑक्साइड का इस्तेमाल यकृत, कैंसर व मधुमेह जैसी बीमारियों के इलाज के लिए किया जा सकता है। बताया गया कि चीन में जन्मे प्रो.वांग कैंसर के इलाज में इस्तेमाल होने वाली दवाइयों से जुड़े कई महत्वपूर्ण शोध कर रहे हैं। वह मेडिसिनल केमिस्ट्री के अंतरराष्ट्रीय स्तर के विशेषज्ञ माने जाते हैं। उनके 340 से ज्यादा शोध पत्र प्रकाशित हो चुके हैं और दुनिया भर में 240 से ज्यादा व्याख्यान दे चुके हैं। डॉ.वांग ने कहा की कार्बन मोनोऑक्साइड का प्रयोग कीमोथेरेपी, जीन थेरेपी और इम्युनोथेरेपी जैसी कई उपचार पद्धतियों के लिए अपनाया जा सकता है।

उन्होंने कहा कि ऑटोफिगी अवरोधकों के साथ कार्बन मोनोऑक्साइड के संयोजन से मानव में प्रोस्टेट, फेफड़ों और अग्नाशय की कैंसर कोशिकाओं में महत्वपूर्ण कैंसर विरोधी प्रभाव देखने को मिलता है। प्रो.वांग के व्याख्यान को सुनने के लिए उत्तराखंड व दूसरे राज्यों के रसायन विज्ञान, वनस्पति विज्ञान, जीव विज्ञान, जैव प्रौद्योगिकी के शिक्षक, शोधार्थी और विद्यार्थी उपस्थित रहे। कुलपति प्रो. रावत ने प्रो.वांग को धन्यवाद देते हुए कहा कि उनके व्याख्यान से प्रतिभागियों की समझ का स्तर बेहतर हुआ है।

डीएसबी परिसर की विज्ञान संकायाध्यक्ष प्रो.चित्रा पांडे ने शोधार्थियों को प्रो.वांग के वृहद अकादमिक परिचय से अवगत कराया। कार्यक्रम का संचालन अतिथि निदेशालय के निदेशक प्रो.ललित तिवारी ने किया।

कार्यक्रम में प्रो.नीता बोरा शर्मा प्रो.सुषमा टम्टा, प्रो.एनजी साहू, प्रो.गीता तिवारी, डॉ.ललित मोहन, प्रो.तपन नैलवाल, प्रो.अनिता सिंह, प्रो.वीना पांडे, डॉ.संतोष उपाध्याय, डॉ.कपिल खुल्बे, डॉ.राजेश्वर, डॉ.नवीन पांडे, डॉ.मयंक पांडे, स्वाति जोशी, प्रो.पुष्पा जोशी, डॉ.नंदन बिष्ट, डॉ.आशीष बहुगुणा, डॉ.तीरथ कुमार, डॉ.पूनम, डॉ.राजेंद्र फर्त्याल व लता नितवाल सहित 166 शिक्षक व शोधार्थी उपस्थित रहे।

(Udaipur Kiran) /डॉ.नवीन जोशी/रामानुज

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