
– वन स्टाप सेंटर के माध्यम से प्रदेश में 2 लाख से अधिक पीड़ित महिलाओं और बालिकाओं को दी जा चुकी है सहायता
लखनऊ, 09 अप्रैल (Udaipur Kiran) । केंद्र सरकार के साथ कदम से कदम मिलाकर कर चल रही योगी सरकार ‘वन स्टॉप सेंटर’ योजना का विस्तार करते हुए राज्य में 17 नई इकाइयों की स्थापना करने जा रही है। यह पहल हिंसा से पीड़ित महिलाओं को तत्काल सहायता और समग्र समर्थन प्रदान करने की दिशा में योगी सरकार का महत्वपूर्ण कदम है।
वन स्टॉप सेंटर योजना की शुरुआत वित्तीय वर्ष 2015-16 में केंद्र सरकार की शत-प्रतिशत वित्त पोषण के तहत हुई थी। अपने शुरुआती वर्षों में यूपी में जमीन तलाश रही इस योजना को 2017 के बाद मुख्यमंत्री योगी के नेतृत्व में गति मिली। प्रदेश की महिला एंव बाल विकास विभाग राज्य में प्रभावी रूप से संचालित कर रही है। इस योजना के तहत हिंसा की शिकार महिलाओं को अल्पकालिक प्रवास, चिकित्सा सहायता, परामर्श, विधिक सहायता, और पुलिस सहायता जैसी सभी आवश्यक सेवाएं एक ही स्थान पर उपलब्ध कराई जाती हैं।
वर्तमान में प्रदेश के 75 जनपदों में 79 वन स्टॉप सेंटर संचालित हैं, जो अब तक 2.10 लाख से अधिक मामलों में महिलाओं और बालिकाओं की मदद कर चुके हैं। यह केंद्र महिलाओं के लिए ‘संकटमोचक’ की भूमिका निभा रहे हैं, जो उन्हें न केवल तत्काल राहत प्रदान करते हैं, बल्कि उनके पुनर्वास और सामाजिक एकीकरण में भी सहायक हैं।
भारत सरकार ने उत्तर प्रदेश की विशाल जनसंख्या और बढ़ती जरूरतों को देखते हुए 17 अतिरिक्त वन स्टॉप सेंटर की स्थापना की मंजूरी दी है। इनमें लखनऊ में दो, वाराणसी में दो, प्रयागराज में दो, और लखीमपुर खीरी में दो नई इकाइयां शामिल हैं। इसके अलावा, बरेली, कानपुर नगर, गौतमबुद्धनगर, मेरठ, गोरखपुर, सहारनपुर, झांसी, आगरा, और बिजनौर में एक-एक नया केंद्र खोला जाएगा। इन केंद्रों की स्थापना की प्रक्रिया तेजी से आगे बढ़ रही है, ताकि जरूरतमंद महिलाओं को शीघ्र लाभ मिल सके।
इसके साथ ही, फरवरी 2025 से हर वन स्टॉप सेंटर पर आपातकालीन सेवाओं के लिए एक वाहन की व्यवस्था भी की गई है, जो पीड़ितों तक त्वरित मदद पहुंचाने में सहायक साबित हो रही है।
पिछले 10 वर्षों में 2.10 लाख से अधिक मामले संदर्भित हो चुके हैं, जिसमें हजारों महिलाओं बालिकाओं को नई जिंदगी मिली है। नई इकाइयों के साथ यह संख्या और बढ़ेगी, खासकर उन क्षेत्रों में जहां अभी तक इस सुविधा की कमी थी। वाहन की व्यवस्था से आपात स्थिति में प्रतिक्रिया समय में सुधार होगा, जो महिलाओं की सुरक्षा को और मजबूत करेगा।
(Udaipur Kiran) / दीपक
