जम्मू,, 18 दिसंबर (Udaipur Kiran) । देश के सबसे चुनौतीपूर्ण और महत्वपूर्ण कटड़ा-श्रीनगर रेल ट्रैक अब करीब करीब पूरी तरह से तैयार है और कल इस ट्रैक पर यहां एक तरफ जीएम नार्दन रेलवे ने निरीक्षण किया तो वहीं, कमिश्नर रेलवे स्ेफ्टी ने भी रियासी से कटड़ा तक से ट्रैक का ट्राली से निरीक्षण किया। जबकि आज षाम को जीएम नार्दन रेलवे भी रियासी से कटड़ा तक के ट्रैक का ट्राली निरीक्षण करेंगे जबकि उसके बाद रियासी से कटड़ा तक के करीब 18 किलोमीटर लंबे रेलवे ट्रैक का कमिश्नर रेलवे सेफ्टी 5 जनवरी को फाइनल निरीक्षण करेंगे और उस दिन इस ट्रैक पर सीआरएस ट्रैन भी दोड़ाएंगे। यानि 5 जनवरी का दिन जम्मू कश्मीर के इतिहास में मानों खास दिन होगा। क्योंकि यह फाइनल निरीक्षण ही तय करेंगा कि नई दिल्ली से सीधे श्रीनगर तक ट्रेन किस दिन दौड़ेगी लेकिन इतना तय माना जा रहा है कि जनवरी माह में ही ट्रेन सीधे दिल्ली से कश्मीर पहुंच जाएगी। क्योंकि अब इस ट्रैक पर ट्रेन को दौड़ाने की तैयारियों को अंतिम रूप दिया जा रहा है। आपकों बता दें कि यह देश का दुर्गम रेल ट्रैक है, जबकि जनवरी 2025 में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ट्रैक का शुभारंभ करेंगे। इस ट्रैक पर ट्रेन दौड़ने से देश का यह हिस्सा कन्याकुमारी तक जुड़ जाएगा। इस रूट पर पहली ट्रेन वंदेभारत हो सकती है। बता दें कि श्रीनगर तक रेल कनेक्टिविटी करने के लिए सबसे कठिन कटड़ा-बनिहाल 111 किलोमीटर लंबा रेल मार्ग तैयार किया गया। इसी प्रोजेक्ट में कटड़ा के रिहायशी क्षेत्र के बीच 3.2 किलोमीटर लंबी टी-1 सुरंग भी शामिल है हालांकि, इस सुरंग में दिक्कतें आईं थीं। जिसमें विदेशी विशेषज्ञों की सहायता भी ली गई थी। जबकि जम्मू से आगे उधमपुर और कटड़ा तथा बनिहाल से श्रीनगर और आगे बारामूला तक ट्रेनें चल रही हैं। इस 111 किलोमीटर लंबे कटड़ा से बनिहाल के हिस्से पर आर्च पुल बनाया गया है। पहाड़ी क्षेत्र होने की वजह से 97 प्रतिशत ट्रैक सुरंगों या फिर पुलों से होकर गुजर रहा है। इससे पहले रेलवे ने संगलदान से रियासी तक का इलेक्ट्रानिक इंजन से ट्रायल लिया था जो सफल था। इसी ट्रैक में भारत का सबसे उंचा चिनाब ब्रिज बनाया गया। जब इस ट्रेक पर ट्रेन दोड़ेगी तो वो नजारा आपकों एक नई दुनिया में लेकर जाएगा और आपका सफर एक यादगार सफर बन जाएगा।
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(Udaipur Kiran) / अश्वनी गुप्ता