Gujarat

विधायकों की ग्रांट से किए जाने वाले विभिन्न विकास कार्यों की सूची में ‘जल संचय’ शामिल

Bhupendra Patel

गांधीनगर, 21 मई (Udaipur Kiran) । विकेन्द्रित जिला योजना कार्यक्रम के तहत विधायक अपने निर्वाचन क्षेत्र में सामूहिक विकास के महत्वपूर्ण छोटे-छोटे कार्यों के लिए प्रत्येक विधायक को निर्वाचन क्षेत्र के अनुसार निश्चित वार्षिक राशि आवंटित करने की योजना में वर्ष 2025-26 से वृद्धि कर 2.50 करोड़ रुपये कर दी गई है। इस ग्रांट से जिले में विभिन्न विकास कार्यों की सूची तैयार की गई है, जिसमें जल संचय के कार्य भी शामिल किया गया हैं। बुधवार को राज्य केबिनेट की मीटिंग में इस निर्णय पर मुहर लगाई गई।

मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल, जल संपदा और पानी आपूर्ति मंत्री कुँवरजीभाई बावड़िया एवं राज्य मंत्री मुकेशभाई पटेल के नेतृत्व में जिले में जल संचय से संबंधित विकास कार्य बेहतर तरीके से हो सकें, इसके उद्देश्य से महत्वपूर्ण निर्णय लिया गया है। इसके तहत प्रत्येक विधायक को आवंटित ग्रांट में से जल संचयन क्षमता बढ़ाने तथा कैच द रेन के माध्यम से भूजल संचयन को बढ़ावा देने, वर्षा जल संचयन जैसे सामूहिक विकास कार्यों के लिए न्यूनतम 50 लाख रुपये की राशि खर्च करने का प्रावधान किया गया है।

उल्लेखनीय है कि गांव के तालाबों और सीमांत तालाबों को गहरा करने के कार्य में लोकफंड के लिए आवश्यक राशि के अभाव में विधायक अपनी ग्रांट से 10 प्रतिशत की सीमा तक राशि आवंटित कर सकते हैं। जल संचय के सुझाए गए विकास कार्यों में प्रत्येक कार्य के लिए 5 लाख रुपये खर्च की सीमा निर्धारित की गई है। विधायकों के लिए विकास कार्य ग्रांट में ऐसे अतिरिक्त कार्यों की अद्यतन सूची में जल संचय के कार्यों की सूची तैयार की गई है, जिसमें गांव के तालाबों को गहरा करने तथा तालाबों में पानी भरने के लिए, सिंचाई के कार्य, चेकडैम निर्माण, सरकारी भवनों पर वर्षा जल संचयन से संबंधित कार्य, गांव के पीने के पानी के कुएं को गहरा करने, निर्माण और पानी के पीने के उद्देश्य से सुधार कार्य शामिल होंगे।

इसके अलावा कुएं रिचार्जिंग के कार्य, सूखे के समय शुरू किए गए पीने के पानी के तालाबों को सुरक्षित स्तर पर लाने, पानी की टंकी के नए निर्माण, वर्षा जल को भूजल में संचयन करने के लिए जल रिचार्ज संरचना संबंधी कार्य, भूजल संचयन संरचना जैसे भूजल टंकी और उससे संबंधित सहायक कार्य, डब्ल्यूटीपी/एसटीपी की मरम्मत एवं उससे जुड़े सहायक कार्य, स्टॉर्म वाटर ड्रेन के कार्य, तालाब के किनारे के मज़बूतीकरण के कार्य, स्टॉर्म वॉटर, ड्रेनेज सिस्टम, तालाब की पाल और चेकडैम की मरम्मत, नहरों की मरम्मत की सूची में शामिल है।

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(Udaipur Kiran) / बिनोद पाण्डेय

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