लखनऊ, 20 अक्टूबर (Udaipur Kiran) ।लखनऊ शहर के सआदतगंज इलाके में खसरा नंबर 1944 अर्थात एक बीघा जमीन एक प्राचीन शिव मंदिर (शिवालय) के नाम से दर्ज है, जिसे वक्फ संपत्ति बताया जा रहा है और इस पर कब्जा करने की मंशा से घेरने की तैयारी की जा रही है। इसी विवादित जमीन के एक हिस्से को वर्ष 2016 में वक्फ बोर्ड ने अफशा अंसारी (मृत माफिया मुख्तार अंसारी की पत्नी) को लीज पर दे दिया था और जिसे अंसारी के गुर्गों ने प्लाटिंग कर बेच दिया था। अब शिवालय की बची जमीन पर वक्फ बोर्ड की नजर है। उसे भी लीज पर देकर बेचा जा सकता है।
मीर वाजिद अली के मुतवल्ली सैयद अब्बास अमीर ने एक हलफनामे में वक्फ बोर्ड का पक्ष रखते हुए कहा है कि सआदतगंज में वक्फ बोर्ड को सख्ती दिखाते हुए कई एक खसरो को वक्फ में दर्ज किया जाना चाहिए। खसरा 1944 को भी वक्फ बोर्ड को अपने कब्जे में ले लेना चाहिए, जिस पर शिव मंदिर अर्थात शिवालय है। जो शिवालय की जमीन है। बताया जा रहा है कि इसी हलफनामा के सामने आने के बाद वक्फ बोर्ड की मंशा से सआदतगंज क्षेत्र में जनाक्रोश व्याप्त है। शिवालय में श्रद्धा रखने वाले लोग वक्फ बोर्ड के किसी भी कदम के विरोध में है।
(Udaipur Kiran) / श.चन्द्र