
विदिशा, 27 मई (Udaipur Kiran) । कलेक्टर एवं जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण अंशुल गुप्ता की अध्यक्षता में मंगलवार को बाढ़ पूर्व तैयारियों के संबंध में जिला आपदा प्रबंधन की बैठक आयोजित की गई। बाढ़ एवं राहत कार्यों के संबंध में किए जाने वाले प्रबंधों की तैयारियों संबंधी बैठक में बाढ़ आपदा से निपटने के लिए अभी से ही सभी तैयारियां करने के निर्देश दिए गए।
कलेक्टर अंशुल गुप्ता ने विशेष कर बिजली विभाग को निर्देश दिए कि जिन क्षेत्रों में वर्षा ऋतु के दौरान खतरा निर्मित होने की संभावना है उन जगहों का पहले से ही चिन्हांकन कर सुरक्षा के इंतजाम कर लिए जाएं। निर्माण विभागों के अधिकारियों को निर्देश दिए गए कि जो भी सड़कें व कुल पुलिया डूब क्षेत्र में आती हैं उनका चिन्हांकन कर सुरक्षा की दृष्टि से प्रबंध सुनिश्चित करें, इसके अलावा सभी तहसीलों में स्थापित वर्षा मापी यंत्रों की जानकारी की प्रतिदिन एंट्री करें व इसकी जानकारी जिला कार्यालय को भी उपलब्ध कराई जाए।
बैठक में जिले के बांध एवं भराव क्षमता की जानकारी भी दी गई। कलेक्टर ने कहा कि उन स्थानों का चिन्ह्यांकन करें जहां नदी किनारे आम नागरिक निवास कर रहे हैं और उन्हें बाढ़ की स्थिति निर्मित होने के पहले विस्थापित करें। उनके ठहरने के इंतजाम, भोजन-पानी सहित बुनियादी आवश्यकताओं की पूर्ति के लिए भी उन्होंने दिशा निर्देश दिए।
कलेक्टर गुप्ता ने बाढ़ बचाव की पूर्व तैयारियों तथा पूर्व प्रबंधो में सुधार, सुझाव पर आधारित कार्यों के क्रियान्वयन को त्वरित संपादन कराने के लिए कहा है। उन्होंने कहा कि आगामी वर्षा ऋतु को दृष्टिगत रखते हुए जिले में बाढ़ आपदा से निपटने पहले से ही अलर्ट हो जाएं, नगर पालिका क्षेत्र तथा ग्रामीण क्षेत्र का चिन्हांकन कर लें जिन क्षेत्रों में पूर्व में बाढ़ की स्थिति निर्मित हुई थी वहां के वार्ड एवं ग्रामीण क्षेत्रों को चिन्हित कर वहां बाढ़ से निपटने के पुख्ता प्रबंध सुनिश्चित करें। उन्होंने नगरपालिकाओं के अधिकारियों को भी निर्देशित किया कि अभी से ही नगरीय क्षेत्र के वार्डों में नालों और नालियों की साफ सफाई कराया जाना सुनिश्चित करें, ताकि पानी निकासी होने में समस्या उत्पन्न ना हो और बाढ़ जैसे हालात ना बनें।
कलेक्टर ने कहा कि नदी के घाटों पर संकेतक बोर्ड लगवाया जाना सुनिश्चित करें। इसके अलावा उन्होंने जिले में जिन भी क्षेत्रों में खदानें खोदी गई हैं या बड़े-बड़े गड्ढे हैं, उन गड्ढे में गिरने से किसी भी प्रकार की कोई जनहानि ना होने पाए। इसका विशेष ध्यान रखें। इन स्थलों पर सुरक्षा की दृष्टि से संकेतक बोर्ड लगवाया जाना सुनिश्चित करें। लापरवाही बरतने पर संबंधित के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
कोई जनहानि की घटना घटित न हो
कलेक्टर गुप्ता ने सभी एसडीएमों को भी निर्देश दिए हैं कि खंड स्तर पर भी आपदा पूर्व तैयारी कर बाढ़ की स्थिति से निपटने हेतु अभी से ही इंतजाम कर लें। इसके साथ ही उन्होंने विदिशा जिले के पुल-पुलियों, रिपटा इत्यादि से मिट्टी व अनावश्यक मलबे को हटाए जाने के निर्देश भी दिए हैं ताकि वर्षा ऋतु में आवागमन में किसी भी प्रकार की कोई बाधा उत्पन्न ना हो। उन्होंने कहा कि वर्षा ऋतु के दौरान पुल-पुलियों पर यदि पानी हो तो वाहन चालकों को पुल-पुलियों से आवागमन ना करने दिया जाए खासकर यात्री बसों को पुल-पुलियों पर अत्यधिक पानी होने पर निकलने ना दिया जाए इसके लिए बेरीकेट्स लगाकर पुल-पुलियों की निगरानी की जाए ताकि बाढ़ आपदा में कोई जनहानि की घटना घटित ना हो।
जर्जर भवनों का करें चिन्हांकन कर नोटिस दें
कलेक्टर ने जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की बैठक में विशेष कर जिले में स्थित जर्जर भवनों का चिन्हांकन कर भवन मालिकों को नोटिस देने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि जो भवन जीर्ण-शीर्ण हालत में हैं। उन्हें नोटिस दें या स्वयं अपने स्तर पर ध्वस्त करने के कार्यों का संपादन करें, ताकि किसी भी प्रकार की जनहानि से बचा जा सके। इसके अलावा उन्होंने शासकीय भवन जो जर्जर हालत में है विशेष कर स्कूल, आंगनबाड़ी या पशुपालन विभाग के भवन उन्हें यथाशीघ्र शिफ्ट कर लिया जाए। विशेष ध्यान रखें कि किसी भी प्रकार की कोई जनहानि या पशुहानि ना होने पाए।
(Udaipur Kiran) तोमर
