Uttrakhand

सहकारिता के क्षेत्र में देश के अग्रणी राज्यों में शामिल होगा उत्तराखंड: डॉ. धन सिंह 

कार्यशाला का शुभारंभ करते सहकारिता मंत्री डॉ. धनसिंह रावत।

– राज्य सहकारी बैंक की ओर से आयाेजित हुई एक दिवसीय सहकारिता कार्यशाला- उत्तराखंड में गुजरात मॉडल पर सहकारी समितियाें काे बढ़ाने की याेजना: बेलवाल

देहरादून, 27 नवंबर (Udaipur Kiran) । उत्तराखंड राज्य सहकारी संघ दीपनगर देहरादून के सभागार में बुधवार को उत्तराखंड राज्य सहकारी बैंक द्वारा एक दिवसीय सहकारिता कार्यशाला का आयोजन किया गया। कार्यशाला का मुख्य उद्देश्य सहकारिता आंदोलन को जमीनी स्तर पर सशक्त बनाना और सहकारिता के माध्यम से सामाजिक व आर्थिक समृद्धि की दिशा में ठोस कदम उठाना था।

कार्यशाला के समापन पर सहकारिता मंत्री डॉ. धनसिंह रावत ने कहा कि उत्तराखंड सहकारिता के क्षेत्र में लगातार प्रगति कर रहा है। पिछले 7-8 वर्षों में सहकारी क्षेत्र में पारदर्शिता और नवाचार के साथ कार्य हुए हैं, जिससे सभी सहकारी समितियां और जिला सहकारी बैंक लाभ में हैं। उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री घसियारी योजना और रेशम फेडरेशन जैसी योजनाओं ने सहकारिता की सफलता को नई ऊंचाइयों पर पहुंचाया है। उन्होंने यह भी घोषणा की कि वर्ष 2025 को सहकारिता वर्ष के रूप में मनाया जाएगा। इसके तहत मार्च 2025 तक सभी गांवों और ग्राम सभाओं में बहुउद्देशीय सहकारी समितियों का गठन किया जाएगा। सहकारिता मंत्री डॉ. रावत ने भरोसा जताया कि उत्तराखंड जल्द ही सहकारिता के क्षेत्र में देश के अग्रणी राज्यों में शामिल होगा। इससे पहले कार्यशाला की शुरुआत में उत्तराखंड राज्य सहकारी बैंक के प्रबंध निदेशक नीरज बेलवाल ने गुजरात में लागू पायलट परियोजना के परिणामों और अनुभवों को साझा किया। उन्होंने बताया कि गुजरात मॉडल के तहत सहकारी समितियों को बैंकिंग सेवाओं तक सीधी पहुंच देकर सशक्त बनाया गया। उत्तराखंड में इसी मॉडल को अपनाने की योजना बनाई जा रही है। बेलवाल ने बताया कि सहकारी समितियों को बैंक मित्र के रूप में नियुक्त कर उन्हें माइक्रो एटीएम की सुविधा दी जाएगी। यह पहल ग्रामीण और सामाजिक-आर्थिक पिरामिड के निम्न स्तर के लोगों को बैंकिंग सेवाओं से जोड़ने में सहायक होगी।सहकारिता सचिव दिलीप जावलकर ने कार्यशाला को संबोधित करते हुए कहा कि सहकारिता आंदोलन को मजबूत करने के लिए हमें हर गांव में बहुउद्देशीय सहकारी समितियों का गठन करना होगा। ग्रामीण स्तर पर किसानों को सहकारिता से जोड़ने से राज्य की समृद्धि सुनिश्चित होगी। उन्होंने शासन स्तर से हरसंभव सहयोग देने का आश्वासन दिया।

(Udaipur Kiran) / कमलेश्वर शरण

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