कोलकाता, 29 अक्टूबर (Udaipur Kiran) । गोसाबा में मंगलवार को सुंदरबन विकास मंत्री बंकिम हाजरा की मौजूदगी में बीडीओ ऑफिस के सामने हंगामे का माहौल बन गया। मंत्री एक प्रशासनिक बैठक के लिए पहुंचे थे, लेकिन ग्रामवासियों के विरोध ने कार्यक्रम को तनावपूर्ण बना दिया। प्रदर्शनकारियों ने क्षेत्र के तृणमूल विधायक पर भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लगाए।
राज्य सरकार बीते सप्ताह आए चक्रवात ‘दाना’ के कारण हुए नुकसान का जायजा लेने के लिए तटीय क्षेत्रों का दौरा कर रही है। इसी सिलसिले में सुंदरबन विकास मंत्री बंकिम हाजरा, जयनगर की सांसद प्रतिमा मंडल और गोसाबा के विधायक सुब्रत मंडल सहित कई अधिकारी गोसाबा में बीडीओ कार्यालय पहुंचे थे। दोपहर 12 बजे मंत्री का काफिला बीडीओ कार्यालय के सामने पहुंचते ही स्थानीय लोगों का गुस्सा फूट पड़ा। प्रदर्शनकारियों का कहना था कि विधायक ने उनसे धन एकत्रित किया था, लेकिन अब तक वह धन वापस नहीं किया गया है। इस मुद्दे पर मंत्री और विधायक के सामने ही लोगों ने जमकर विरोध प्रदर्शन किया।
प्रदर्शनकारियों का कहना था कि वे सभी तृणमूल समर्थक हैं, लेकिन विधायक के रवैये से आहत हैं। मंत्री बंकिम हाजरा ने स्थानीय लोगों से बातचीत की और उनकी नाराजगी दूर करने का प्रयास किया। उन्होंने आश्वासन दिया कि इस मामले को मुख्यमंत्री के संज्ञान में लाया जाएगा। मंत्री ने कहा, मैं आज सरकारी कार्यक्रम के तहत यहां आया हूं। अगर आप चाहें तो मैं इस मामले को मुख्यमंत्री तक पहुंचाऊंगा। हालांकि, मंत्री के इस आश्वासन से प्रदर्शनकारियों का गुस्सा शांत नहीं हुआ और उन्होंने विधायक से तुरंत जवाब की मांग की कि उनका पैसा कब लौटाया जाएगा।
प्रदर्शन के दौरान एक समय ऐसा भी आया जब मंत्री बंकिम हाजरा गुस्से में दिखे। उन्होंने लोगों को सख्त लहजे में कहा कि अगर कोई अपशब्द कहेगा तो उसे बख्शा नहीं जाएगा। इसके बाद, जब मंत्री और अन्य अधिकारी बीडीओ कार्यालय के अंदर जाने लगे तो लोगों ने विधायक सुब्रत मंडल के खिलाफ नारेबाजी शुरू कर दी। लोगों ने विधायक पर लोकसभा चुनाव के दौरान भाजपा का समर्थन करने का भी आरोप लगाया। भीड़ से आवाजें आईं, “आप भाजपा के एमएलए हैं!” और “आप विधायक बनने के काबिल नहीं हैं।”
हालांकि, फोन पर संपर्क करने पर विधायक सुब्रत मंडल ने इन सभी आरोपों को बेबुनियाद बताया और इसे अपने खिलाफ साजिश करार दिया। उन्होंने कहा, “यह मेरे खिलाफ जानबूझकर किया गया प्रचार है। मेरे खिलाफ षड्यंत्र रचा गया है।”
(Udaipur Kiran) / ओम पराशर