
पश्चिम चंपारण ,26 अप्रैल (Udaipur Kiran) ।भारत-नेपाल सीमा पर स्थित वाल्मीकि नगर के अंतरराष्ट्रीय कन्वेंशन सेंटर के वाल्मीकि सभा में राष्ट्रीय लोक मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं राज्यसभा सांसद उपेंद्र कुशवाहा ने शनिवार को पार्टी के तीन दिवसीय राजनीतिक मंथन शिविर का झंडोत्तोलन कर उद्घाटन किया।
इस बैठक में राष्ट्रीय और प्रदेश तथा जिलाध्यक्ष समेत लगभग 300 के करीब प्रतिनिधि भाग ले रहे हैं। 26 अप्रैल से 28 अप्रैल तक पश्चिमी चंपारण जिले के वाल्मीकिनगर में चलने वाले इस शिविर के उद्घाटन सत्र से कार्यक्रम की शुरुआत हुई। राष्ट्रगान, दीप प्रज्ज्वलन के साथ शुरू हुए इस सत्र में पहलगाम आतंकी हमले में मारे गए दिवंगत आत्माओं की शांति हेतु दो मिनट का मौन रखा गया। इसके बाद सभा ने सर्वसम्मति से यह प्रस्ताव पास किया कि यह सभा पहलगाम आतंकी हमले की घोर निंदा करती है ।
राष्ट्रीय लोक मोर्चा परिवार भारत सरकार के साथ पूरी एकजुटता के साथ खड़ी है। शिविर में आज पार्टी के राष्ट्रीय पदाधिकारियों के साथ राष्ट्रीय अध्यक्ष उपेन्द्र कुशवाहा की बैठक भी हुई। इसके उपरांत पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए शिविर से जुड़े पार्टी के उद्देश्य की चर्चा की।
उन्होंने कहा कि उन्हें पूरा विश्वास है कि इन तीन दिनों में होने वाले विचार मंथन के बाद पार्टी को आगे के राजनीतिक फैसलों के लिए दिशा मिलेगी। उन्होंने कहा कि इस शिविर में आगामी विधानसभा चुनाव के विषय के अतिरिक्त पार्टी के मुख्य मुद्दों यथा उच्चतर न्याय व्यवस्था का प्रजातंत्रीकरण (कॉलेजियम प्रणाली की समाप्ति) , शिक्षा में सुधार , जातीय जनगणना , जनसंख्या के आधार पर परिसीमन एवं क्षेत्र का विकेंद्रीकरण, पटना का नाम पाटलिपुत्र करना , सावित्रीबाई फुले की जयंती पर महिला शिक्षा दिवस का आयोजन, सम्राट अशोक की जयंती पर बिहार की तरह पूरे देश में अवकाश की घोषणा, बिहटा हवाई अड्डे का नाम भारत रत्न जननायक कर्पूरी ठाकुर के नाम पर करना , बिहार में किसानों और युवाओं के हितों मे कृषि उत्पादन पर आधारित उद्योगों की स्थापना जिससे पलायन की समस्या रुकेगी एवं रोजगार सृजन होगा, बिहार में पर्यटन क्षेत्र को विकसित कर रोजगार सृजित करने का काम ,बोधगया के मंदिर अधिनियम में संशोधन करना , सीतामढ़ी में निर्माण हो रहे मेडिकल कॉलेज का नाम अमर शहीद रामफल मंडल के नाम पर करना आदि विषयों पर चर्चा की आवश्यकता है।
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(Udaipur Kiran) / अरविन्द नाथ तिवारी
