
जयपुर, 6 मई (Udaipur Kiran) । जयपुर ग्रामीण जिले की चंदवाजी थाना पुलिस ने कार्रवाई करते हुए प्रेमी के साथ मिलकर पति को जान से मारने का प्रयास करने के मामले में पत्नी,प्रेमी सहित तीन आरोपिताें को गिरफ्तार किया है। साथ ही पुलिस ने आरोपिताें के पास से पोटेशियम दवा भरी दो सिरिंज, खाली इंजेक्शन व वारदात प्रयुक्त एक दुपहिया वाहन बरामद की है। फिलहाल आरोपिताें से पूछताछ की जा रही है।
पुलिस उप महानिरीक्षक (जयपुर ग्रामीण पुलिस अधीक्षक) आनंद शर्मा ने बताया कि जयपुर ग्रामीण जिले की चंदवाजी थाना पुलिस ने कार्रवाई करते हुए प्रेमी के साथ मिलकर पति को जान से मारने का प्रयास करने के मामले में मनीषा गुर्जर (26) निवासी चंदवाजी जिला जयपुर हाल जमवारामगढ़ जिला जयपुर, उसके प्रेमी पवन कुमार पाठक (37) निवासी महुआ जिला दौसा और अनुज शर्मा (30) निवासी खेरली जिला अलवर को गिरफ्तार किया गया है। जिनके पास से पोटेशियम दवा भरी दो सिरिंज,खाली इंजेक्शन व वारदात प्रयुक्त एक दुपहिया वाहन बरामद की है।
चंदवाजी थानाधिकारी हीरालाल सैनी ने बताया कि चार मई की रात निम्स अस्पताल से सूचना मिली थी कि अस्पताल में भर्ती मरीज देवनारायण के दो अज्ञात व्यक्तियों की ओर से वार्ड में आकर इंजेक्शन लगाने का प्रयास किया गया है जिनको पकड़ रखा है। सूचना पर पुलिस निम्स अस्पताल पहुंची, जहां पर निम्स अस्पताल स्टाफ व गार्ड द्वारा पकड़े गये व्यक्तियों से पूछताछ की गयी तो निम्स अस्पताल में भर्ती मरीज देवनारायण गुर्जर को रात्री तीन बजे बाद एक नर्सिंग कर्मी की ड्रेस में आये युवक द्वारा इंजेक्शन लगाने का प्रयास करने के बारे में बताया। दोनों संदिग्ध व्यक्ति पवन कुमार पाठक और अनुज शर्मा से डिटेन कर पूछताछ में सामने आया कि दोनों ने ही महात्मा गांधी अस्पताल जयपुर में नर्सिंग कर्मी है। वहीं आरोपित पवन कुमार पाठक व अनुज शर्मा के निम्स अस्पताल में भर्ती मरीज देवनारायण से कोई सम्बन्ध नहीं होना व ना ही कोई आपसी रंजिश होना पाया गया। साथ ही आरोपित पवन कुमार पाठक का अस्पताल में भर्ती मरीज देवनारायण की पत्नी मनीषा से एक वर्ष से प्रेम सम्बन्ध होना सामने आया।
आरोपित मनीषा अपने पति देवनारायण को रास्ते से हटाने के लिए पवन कुमार पाठक से मिलकर पोटेशियम का हेवी डोज इंजेक्शन देकर मारने की योजना बनाई। ताकि अस्पताल में भर्ती मरीज की इलाज के दौरान ही मृत्यु हो जाये और वह मृत्यु बिमारी के कारण साधारण मृत्यु लगे। ताकि किसी पर कोई संदेह नहीं हो ।
पुलिस पूछताछ में सामने आया कि देवनारायण को अपने रास्ते से हटाने के लिए आरोपित पवन कुमार पाठक ने इस कार्य में मदद के लिये अपने दोस्त अनुज शर्मा के मार्फत पोटेशियम के इंजेक्शनों की व्यवस्था की थी। ड्यूटी पर तैनात मेडिकल ऑफीसर से पोटेशियम के इंजेक्शनों के बारे में जानकारी करने पर सामने आया कि किसी मरीज के शरीर में पोटेशियम की कमी होने पर इंजेक्शन को लिक्विड के साथ काफी धीमी मात्रा में मरीज को डॉक्टर की निगरानी में दिया जाता है। लेकिन यदि इस इंजेक्शन को सीधा ही कैनुला से मरीज के शरीर में इंजेक्ट कर दिया जाता तो कुछ ही मिनटों में मरीज का हार्ट रूक जाता है तथा उसकी निश्चित तौर से मृत्यु हो जाती है। जो साईलेन्ट हार्ट अटैक जैसी होती है।
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(Udaipur Kiran)
