HEADLINES

आयोग में सदस्य नियुक्ति का रास्ता साफ, दिया गया यथास्थिति का आदेश समाप्त

हाईकाेर्ट

जयपुर, 15 अप्रैल (Udaipur Kiran) । राजस्थान हाईकोर्ट ने राज्य उपभोक्ता आयोग और जिला उपभोक्ता आयोग में सदस्य पद पर नियुक्ति से जुड़े मामले में दायर याचिका को खारिज कर दिया है। इसके साथ ही मामले में अंतरिम राहत के रूप में दिया गया यथास्थिति का आदेश भी समाप्त हो गया है। जस्टिस समीर जैन की एकलपीठ ने यह आदेश पवन कुमार भारद्वाज की याचिका को खारिज करते हुए दिए। अदालत ने कहा कि आवेदन पत्र में तय अवधि तक ही संशोधन किया जा सकता था। सुप्रीम कोर्ट भी तय कर चुका है कि भर्ती के बीच नियमों में बदलाव नहीं किया जा सकता। यदि याचिकाकर्ता को किसी शर्त को लेकर शिकायत थी तो उसे चयन प्रक्रिया में भाग लेने से पहले उस पर सवाल उठाना चाहिए था।

याचिका में कहा गया था कि राज्य सरकार ने 20 दिसंबर, 2024 को राज्य उपभोक्ता आयोग के सात पदों और जिला उपभोक्ता आयोग में सदस्यों के 80 पदों पर नियुक्ति के लिए भर्ती विज्ञापन जारी किया था। याचिकाकर्ता ने सदस्य पद के लिए आवेदन किया, लेकिन इस दौरान गलती से पहली वरीयता में जिला आयोग और दूसरी वरीयता में राज्य आयोग का चयन हो गया। इस पर याचिकाकर्ता ने साक्षात्कार से पूर्व वरीयता में संशोधन के लिए विभाग में अभ्यावेदन पेश किया। वहीं गत 9 नवंबर को जारी परिणाम में याचिकाकर्ता ने मेरिट में उच्च स्थान प्राप्त किया। याचिका में कहा गया कि याचिकाकर्ता की ओर से वरीयता बदलने के संबंध में पेश अभ्यावेदन पर कोई कार्रवाई नहीं की गई। वहीं राज्य सरकार की ओर से अतिरिक्त महाधिवक्ता कपिल प्रकाश माथुर ने अदालत को बताया कि नियमानुसार आवेदन में अंतिम तिथि 20 दिसंबर, 2024 के बाद संशोधन नहीं हो सकता था। लिखित परीक्षा का गत 30 जनवरी को परिणाम जारी होने पर याचिकाकर्ता को मेरिट में रहने की जानकारी हो गई थी। ऐसे में उसने 3 फरवरी को कैटेगरी बदलने की कोशिश की। वहीं मेरिट के आधार पर उसे नियुक्त किया जा चुका है। जिस पर सुनवाई करते हुए एकलपीठ ने याचिका को खारिज कर दिया है।

—————

(Udaipur Kiran)

Most Popular

To Top