Uttar Pradesh

लखीमपुर महोत्सव में बिखरे थारू संस्कृति के रंग, दिखी जंगल की विरासत

वन्यजीवों को घरों में पालतू बनाकर नहीं रखना चाहिए

लखीमपुर खीरी, 25 नवंबर (Udaipur Kiran) । दुधवा नेशनल पार्क की धरा पर आयोजित तराई की मिट्टी का उत्सव लखीमपुर महोत्सवमें ईको विकास समिति की महिला कलाकारों ने थारू संस्कृति के रंग बिखरे और मौजूद जनसमूह का मन मोह लिया। थारू जनजाति की महिलाओं के इस दल ने पारंपरिक थारू नृत्य की मोहक प्रस्तुति दी।

इस दौरान पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह एवं पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री डॉ. अरुण कुमार सागर ने कहा कि पर्यावरण संतुलन में वन्य जीवों की भूमिका अहम है। दुधवा की धारा पर सजे लखीमपुर महोत्सव में लगी वन्यजीव फोटो प्रदर्शनी लोगों की विशेष पसंद का हिस्सा बनी। इसमें विभिन्न वन्य जीवों से संबंधित चित्रों को देखकर लोगों ने उनकी विशेषता को बखूबी समझा। प्रदर्शनी का अवलोकन करते हुए प्रदेश के पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह एवं पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री डॉ. अरुण कुमार सागर ने वन्य जीव फोटो प्रदर्शनी की गुणवत्ता की तारीफ की। कहा कि वन्यजीवों को घरों में पालतू बनाकर नहीं रखना चाहिए, यह अपराध की श्रेणी में आता है। पर्यावरण संतुलन में वन्यजीवों की भूमिका अहम होती है। इन चित्रों को देखने के बाद लोगों में इन वन्य जीवों को देखने की उत्कंठा जागृत होगी जिससे जनपद में पर्यटन विकास को बल मिलेगा। कार्यक्रम में थारू उत्पाद की प्रदर्शनी भी आकर्षण का केंद्र रही। वहीं स्कूली बच्चों द्वारा तैयार की गई रंगोली ने सभी का मन मोहा। कार्यक्रम के दौरान स्कूली बच्चों, स्थानीय नागरिकों एवं जनसामान्य में वन्य जीवों की सुरक्षा, संरक्षण, पक्षियों, एवं वन्य जीवों की पहचान करते हुए उनका मानव जीवन में क्या उपयोगिता होती है, की जानकारी दी गई।

(Udaipur Kiran) / देवनन्दन श्रीवास्तव

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