
नई दिल्ली, 27 मार्च (Udaipur Kiran) । सुप्रीम कोर्ट ने राजस्थान के आठ हजार से अधिक खनन लीज धारकों को राहत दी है। चीफ जस्टिस संजीव खन्ना की अध्यक्षता वाली बेंच ने 31 मार्च तक खनन बंद करने की समय सीमा को दो महीने के लिए बढ़ा दिया है।
दरअसल, राजस्थान सरकार की ओर से दायर याचिका में कहा गया कि अगर खनन की समय सीमा नहीं बढ़ाई गई तो लाखों लोगों की आजीविका पर संकट आ जाएगा। इससे राज्य की अर्थव्यवस्था और मजदूरों पर बुरा असर पड़ेगा। सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई करते हुए कहा कि अगर राज्य पर्यावरण प्रभाव आकलन प्राधिकरण किसी खनन पट्टे को अस्वीकार करता है तो खनन पट्टाधारक कानूनी विकल्पों को आजमा सकते हैं।
12 नवंबर 2024 को सुप्रीम कोर्ट ने खनन संचालन को 31 मार्च तक जारी रखने की अनुमति ये कहते हुए दी थी कि खनन संचालक पर्यावरण नियमों का पालन करें। इस समय सीमा के खत्म होने की तिथि नजदीक होने की वजह से राज्य सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की थी।
नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) ने खनन पट्टा धारकों को पर्यावरण मानकों का पालन न करने पर उनके लाइसेंस विस्तार करने पर रोक लगा दी थी। एनजीटी के इसी आदेश को राजस्थान सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी।
(Udaipur Kiran) /संजय
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(Udaipur Kiran) / वीरेन्द्र सिंह
