कठुआ 09 नवंबर (Udaipur Kiran) । एक तरफ देश के प्रधानमंत्री आए दिन मन की बात हो या कोई सार्वजनिक सभा हो, सभी को स्वच्छता अभियान के प्रति जागरुक करते नजर आते हैं, लेकिन शायद एक सप्ताह से कठुआ प्रशासन पर देश के प्रधानमंत्री की अपीलों का कोई असर नहीं हो रहा है।
बीते एक सप्ताह से नगर परिषद कठुआ के अस्थाई सफाई कर्मचारी लंबित पड़ी मांगों को लेकर धरने पर बैठे हैं। जिस पर एलजी व जम्मू कश्मीर सरकार की ओर से अभी तक कोई भी निर्णय नहीं लिया गया है। जिसके चलते शहर में जगह-जगह गंदगी फैल गई है। जगह-जगह गंदगी के ढेर लगे हुए हैं और उन गंदगी के ढेर के पास मवेशी मुंह मारते नजर आते हैं, लेकिन सफाई कर्मचारियों की हड़ताल के आगे जिला प्रशासन बेबस है, क्योंकि इस बार सफाई कर्मचारियों ने सीधा तौर पर चेतावनी देते हुए कहा था कि जब तक उनकी मांगे पूरी नहीं होती तब तक वे काम पर नहीं जाएंगे। पूरे शहर में सफाई व्यवस्था चरमरा गई है, जहां-जहां पर नगर परिषद कठुआ द्वारा डस्टबिन लगाए गए हैं उन डस्टबिन के आसपास गंदगी के बड़े-बड़े देर लग गए हैं और जिन लोगों के घरों के पास डस्टबिन लगाए गए हैं, गंदगी उन लोगों के घरों तक पहुंच चुकी है, गंदगी के ढेर की वजह से अब मोहल्ले के आपसी झगड़े भी बढ़ चुके हैं। क्योंकि जहां पर डस्टबिन लगा है वहां पर किसी का घर भी होता है और रोजाना सफाई न होने की वजह से गंदगी के ढेर दूर-दूर तक फैल गए हैं और लोगों के घरों के आगे गंदगी पसरी पड़ी है, जिसकी वजह से अब लोग अपने घरों के बाहर बैठकर रखवाली कर रहे हैं कि कोई भी कूड़ा उनके घर के पास ना फेंके। कठुआ के वार्ड नंबर एक से लेकर 21 तक हालात बद से बदतर हो चुके हैं लेकिन जिला प्रशासन बेवस है, क्योंकि स्थाई कर्मचारियों की संख्या बहुत कम है जबकि अस्थाई कर्मचारी 75 से 80 के करीब है। जहां तक कि जिला सचिवालय के भीतर भी जगह-जगह कूड़े के देर लग गए हैं। जिनके ऊपर लोगों को स्वच्छता का पाठ पढ़ने का जिमा है अब उनके अपने कार्यालयों में भी गंदगी के ढेर लगे हुए हैं।
वहीं दूसरी और इस वर्ष बारिश बहुत कम हुई है और सर्दी का मौसम भी आ चुका है। बारिश न होने की वजह से मिट्टी, धूल और प्रदूषण का गुब्बार भी आसमान में छाया हुआ है। ऊपर से लोगों के घरों के आसपास लगे डस्टबिन और नालियां भी जाम हो चुके हैं जिससे मच्छर भी बढ़ चुका है और डेंगू जैसी बीमारियों का फैलना भी लगभग तय है। हालांकि कठुआ में भी डेंगू के कई मामले आ चुके हैं। गौरतलब हो कि जब तक सफाई कर्मचारियों की लंबित पड़ी मांगों को जल्द पूरा नहीं किया गया तब तक शहर में गंदगी दिन-प्रतिदिन बढ़ती जाएगी। इसके लिए जिला प्रशासन को इस मुद्दे पर चर्चा करनी चाहिए और सफाई कर्मचारियों की लंबित पड़ी मांगों का समाधान करना चाहिए तभी जाकर सफाई कर्मचारी शहर की सफाई करेंगे और लोगों को गंदगी से निजात मिलेगी।
(Udaipur Kiran) / सचिन खजूरिया