Haryana

सोनीपत: नन्हें वैज्ञानिकों का नवाचार उत्सव: कृषि से तकनीक तक नई क्रांति

28 Snp-2  सोनीपत: राष्ट्रीय बाल वैज्ञानिक प्रदर्शनी         में नन्हें वैज्ञानिक
28 Snp-2  सोनीपत: राष्ट्रीय बाल वैज्ञानिक प्रदर्शनी         में नन्हें वैज्ञानिक

-राष्ट्रीय बाल वैज्ञानिक प्रदर्शनी

नवाचारों का उत्सव में थीमेटिक क्षेत्रों स्वास्थ्य, पर्यावरण के लिए जीवनशैली कृषि,

संचार और परिवहन, और कम्प्यूटेशनल थिंकिंग केंद्र बिंदू रहे

सोनीपत, 28 दिसंबर (Udaipur Kiran) । राष्ट्रीय बाल वैज्ञानिक प्रदर्शनी नवाचारों का उत्सव

के तीसरे दिन पांच थीमेटिक क्षेत्रों स्वास्थ्य, पर्यावरण के लिए जीवनशैली कृषि, संचार

और परिवहन, और कम्प्यूटेशनल थिंकिंग पर नन्हें वैज्ञानिकों ने अपनी कार्य क्षमता प्रदर्शित

की। नवाचारों की प्रदर्शनी जारी रही। इस दिन का मुख्य आकर्षण कृषि और तकनीकी नवाचारों

का संगम रहा।

गवर्नमेंट

हाई स्कूल, लुधियाना, पंजाब की छात्रा हरजोत कौर ने एक्वापोनिक्स और एरोपोनिक्स जैसी

उन्नत कृषि तकनीकों पर आधारित परियोजना प्रस्तुत की। इसमें मिट्टी की नमी मापने वाला

सेंसर और वर्चुअल रियलिटी आधारित कृषि प्रबंधन तकनीकें शामिल थीं। इस पहल का उद्देश्य

मिट्टी के स्वास्थ्य को संरक्षित रखते हुए कृषि उत्पादकता बढ़ाना है।

गवर्नमेंट

सीनियर सेकेंडरी स्कूल, पानीपत, हरियाणा के छात्र रोहित पाल ने एक बहुउद्देश्यीय उपकरण

प्रस्तुत किया। यह उपकरण जुताई, बुवाई, निराई और कटाई जैसे कार्यों के लिए उपयोगी है।

यह किसानों के लिए लागत-कुशल और समय बचाने वाला समाधान है।

के.के.

रेड्डी हाई स्कूल, तेलंगाना के छात्रों के. साई सत्विक और ए. रोहित तेजा ने सौर ऊर्जा

आधारित सिंचाई प्रणाली और रडार-आधारित फसल संरक्षण समाधान प्रस्तुत किए। यह परियोजना

कृषि में नवीकरणीय ऊर्जा का प्रभावी उपयोग दर्शाती है। झारखंड के छात्रों राजीब मोदी

और रोहित कुमार ने कम लागत वाले अंडा हैचिंग इनक्यूबेटर का निर्माण किया। कार्डबोर्ड

और थर्मोकोल जैसे सस्ते संसाधनों से बनाया गया यह उपकरण ग्रामीण किसानों की आजीविका

में सुधार के लिए डिज़ाइन किया गया है।

कन्नूर,

केरल के छात्रों देवदर्श चंद के. और जिया एस. जित ने स्मार्ट ई-प्लांट सिस्टम प्रस्तुत

किया, जो मिट्टी की नमी, उर्वरक प्रबंधन, और कीट नियंत्रण को सेंसर की मदद से स्वचालित

रूप से संचालित करता है। ओडिशा

की छात्रा सुक्तारा शेख ने विकलांग व्यक्तियों और किसानों के लिए एक स्मार्ट स्टिक

का विकास किया। इसमें घास काटने की मशीन, पानी का पता लगाने वाला सेंसर, जीपीएस, और

कीट प्रतिरोधक जैसी सुविधाएं शामिल हैं। बारिश के बावजूद, 28 राज्यों से आए 400 युवा

वैज्ञानिकों और सोनीपत जिले के 4,000 छात्रों ने इस आयोजन में भाग लिया। दिनभर प्रेरणादायक

विज्ञान वार्ताएं और नवीन परियोजनाओं की प्रदर्शनी ने सभी का ध्यान आकर्षित किया।

—————

(Udaipur Kiran) शर्मा परवाना

Most Popular

To Top