Haryana

यमुनानगर: मंडियों से धान का धीमा उठान किसानों के लिए बना मुसीबत

मंडी में अटी पड़ी जीरी

यमुनानगर, 12 अक्टूबर (Udaipur Kiran) । राइस मिलर्स का सरकार से अनुबंध न होने के चलते अनाज मंडियों में किसानों को भारी मुसीबत का सामना करना पड़ रहा है। सरकार द्वारा लाई गई नई पॉलिसी में लगाई गई शर्तों का राइस मिलर्स विरोध कर रहे हैं और हड़ताल पर है। राइस मिलर्स की सरकार के साथ सोमवार तक बातचीत होने की उम्मीद है। जिससे मंडियों में अटकी पडे जीरी के लगभग 10 लाख बैग के उठान में तेजी आएगी। फिलहाल सरकारी एजेंसियों के द्वारा जीरे का उठान शुरू कर दिया गया है। लेकिन आवक ज्यादा होने के कारण उठान धीमी गति से हो रहा है।

हालांकि नवनिर्वाचित भाजपा विधायक घनश्याम दास अरोड़ा ने भी शुक्रवार को मंडी का दौरा कर आढ़तियों व राइस मिलर्स की समस्याओं को सुना और आश्वासन दिया कि वह तीन दिन बाद दोबारा मंडी का निरीक्षण करेंगे और आढ़तियों को मंडी में आ रही सभी समस्याओं का समाधान करने के अधिकारियों को निर्देश भी दिए थे।

शनिवार को अनाज मंडी आढ़ती एसोसिएशन के जिला प्रधान मनीष कंबोज ने बताया कि अनाज मंडी जगाधरी में सीवरेज की व्यवस्था पूरी तरह से ठप्प पड़ी है। जगह-जगह कचरे के ढेर पड़े हैं, लेकिन कोई उठान नहीं हो पा रहा है। इस समय बिलासपुर, छछरौली और रादौर की मंडियों में जीरी की आवक में तेजी है और मंडियों में जीरी रखने की कहीं भी जगह नजर नहीं आती।

उन्होंने बताया कि लगभग 10 लाख से अधिक जीरी के बैग मंडियों में पड़े हैं। और उठान में देरी हो रही है। उन्होंने कहा कि सरकारी एजेंसियां हैफेड और भारतीय खाद्य निगम के द्वारा मंडियों से जीरी का उठान शुरू कर दिया गया है, लेकिन राइस मिलर्स द्वारा नई शर्तों को लेकर विरोध किए जाने का समाधान अभी सरकार के पास लंबित पड़ा है और उम्मीद है कि सोमवार तक सरकार के साथ होने वाली बातचीत में समाधान निकाल लिया जाएगा।

(Udaipur Kiran) / अवतार सिंह चुग

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