HEADLINES

राजकीय अधिवक्ता-एएजी पद पर सांदू की नियुक्ति को लेकर लिया स्वप्रेरित प्रसंज्ञान निस्तारित

कोर्ट

जयपुर, 2 अप्रैल (Udaipur Kiran) । राजस्थान हाईकोर्ट ने पूर्णपीठ की सहमति के बाद भी आपराधिक मामलों में पैरवी के लिए राजकीय अधिवक्ता कम एएजी पद पर ब्रह्मानंद सांदू की नियुक्ति नहीं करने से जुडे मामले में लिए स्वप्रेरित प्रसंज्ञान को निस्तारित कर दिया है। सीजे एमएम श्रीवास्तव और जस्टिस आनंद शर्मा की खंडपीठ ने यह आदेश प्रकरण में एकलपीठ की ओर से लिए स्वप्रेरित प्रसंज्ञान को निस्तारित करते हुए दिए। अदालत ने माना कि यह जनहित का मामला नहीं है और ऐसे में इस पर स्वप्रेरणा से प्रसंज्ञान भी नहीं लिया जा सकता। इसके अलावा अधिवक्ता नियुक्ति को लेकर राज्य सरकार को विशेषाधिकार प्राप्त है। अदालत ने अधिवक्ता सांदू को छूट दी है कि वे चाहे तो इस संबंध में अलग से सर्विस रिट पेश कर सकते हैं।

सुनवाई के दौरान अदालती आदेश की पालना में प्रमुख विधि सचिव रिकॉर्ड सहित पेश हुए। वहीं अदालत ने अधिवक्ता सांदू से पूछा कि इस मामले में उनका क्या कहना है। सांदू ने कहा कि मार्च 2024 में उनका पुलिस वेरिफिकेशन हुआ था और तब उन्हें पता चला था कि राज्य सरकार ने उनका नाम जयपुर पीठ में जीए-एएजी पद के लिए तय किया है। वहीं हाईकोर्ट प्रशासन की ओर से भी माना कि उनके नाम की सहमति दी गई थी। इसके अलावा राज्य सरकार की ओर से भी कहा गया कि अधिवक्ता नियुक्ति को लेकर राज्य सरकार के पास अधिकार सुरक्षित हैं। इस पर अदालत ने प्रकरण को निस्तारित कर दिया। गौरतलब है कि पिछले दिनों जस्टिस गणेश राम मीणा की एकलपीठ ने जीए-एएजी पद पर अधिवक्ता ब्रह्मानंद सांदू को पूर्णपीठ की ओर से 16 अप्रैल 2024 को दी सहमति के बाद भी नियुक्ति नहीं देने को गंभीर मानते हुए स्वप्रेरित प्रसंज्ञान लिया था।

—————

(Udaipur Kiran)

Most Popular

To Top