
कानपुर, 28 मई (Udaipur Kiran) । रानी अहिल्याबाई होल्कर न केवल एक महान प्रशासक और महिला सशक्तिकरण की प्रतीक थीं, बल्कि उन्होंने अपने शासनकाल में धर्म, सेवा और न्याय का अनूठा उदाहरण प्रस्तुत किया। उन्होंने अपने समय में महिला सशक्तिकरण, जनकल्याण और मंदिरों के पुनर्निर्माण के माध्यम से भारतीय संस्कृति को संजोकर रखा। उन्होंने भारत की संस्कृति की पुनर्स्थापना में सराहनीय योगदान दिया। देशवासी रानी अहिल्याबाई की वीरगाथा को जरूर सुनें। यह बातें बुधवार को पूर्व सांसद सुब्रत पाठक ने पुण्यश्लोक रानी अहिल्याबाई होल्कर की 300वीं जयंती के अवसर पर केशव नगर स्थित भाजपा मुख्यालय में आयोजित किदवई नगर विधानसभा की संगोष्ठी में कही।
पूर्व सांसद ने कहा कि आज का भारत रानी अहिल्याबाई जैसे आदर्श नेतृत्व की प्रेरणा से मार्गदर्शन लेकर चल रहा है। युवाओं से आग्रह किया कि वे रानी अहिल्याबाई होलकर के जीवन से सीख लेकर समाज के उत्थान में योगदान दें। उन्होंने कहा कि पुण्यश्लोक रानी अहिल्याबाई होलकर का जन्म 31 मई 1725 में महाराष्ट्र के चौड़ी गांव में हुआ था। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने काशी विश्वनाथ कॉरिडोर में उनकी प्रतिमा स्थापित करते हुए कहा था कि अहिल्याबाई होल्कर ने काशी विश्वनाथ मंदिर से लेकर सोमनाथ तक अनेक मंदिरों का जीर्णोद्धार कराया।
छावनी विधानसभा की संगोष्ठी में भाजपा प्रदेश उपाध्यक्ष एवं एमएलसी मानवेंद्र सिंह ने कहा कि अहिल्याबाई ने सत्ता संभालते ही कहा था कि मेरा पथ धर्म का पथ है। धर्म का पथ ही न्याय का पथ है। न्याय का पथ हमें सर्वशक्तिमान और समर्थ बनाने में सहायक होगा। अहिल्याबाई ने उस कालखंड में सनातन धर्म की पुनर्स्थापना में महत्वपूर्ण योगदान दिया था। रानी अहिल्याबाई भारतीय इतिहास की ऐसी अद्भुत नारी शक्ति थी जिन्होंने अपने न्याय प्रिय शासन, धार्मिक सहिष्णुता, जनकल्याणकारी नीतियों और महिलाओं के सम्मान के लिए ऐसा योगदान दिया, जिसे कभी बुलाया नहीं जा सकता। भारतीय संस्कृति को पुनर्जीवित करना अहिल्याबाई का लक्ष्य था।
दक्षिण जिलाध्यक्ष शिवराम सिंह ने अहिल्याबाई के व्यक्तित्व एवं कृतित्व पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि रानी अहिल्याबाई का सम्पूर्ण जीवन राष्ट्रभक्ति, परोपकार और समर्पण की मिसाल है। इस संगोष्ठी का उद्देश्य आज की पीढ़ी को उनके महान व्यक्तित्व से परिचित कराना है।
महाराजपुर विधानसभा की संगोष्ठी में पूर्व जिला महामंत्री राकेश तिवारी एवं महिला मोर्चा की क्षेत्रीय महामंत्री पुष्पा तिवारी ने रानी अहिल्याबाई के जीवन, व्यक्तित्व और कृतित्व पर प्रकाश डाला। संगोष्ठी में इतिहासकार, अधिवक्ता, शिक्षक, व्यापारी, चिकित्सक, इंजीनियर, महिला संगठनों की प्रतिनिधि, सामाजिक संगठन, स्वयंसेवी संस्थाओं के प्रतिनिधि उपस्थित रहे।
प्रमुख रूप से विधायक महेश त्रिवेदी, रघुनंदन भदौरिया, जसविंदर सिंह, भूपेंद्र त्रिपाठी, रीता शास्त्री, विनय मिश्रा, विजया तिवारी, विनोद मिश्रा, मीडिया प्रभारी मनीष त्रिपाठी, वीरेंद्र दिवाकर, अर्जुन बेरिया, शिवपूजन सविता,अनुराग शुक्ला आदि मौजूद रहे।
(Udaipur Kiran) / मो0 महमूद
