नई दिल्ली, 04 दिसंबर (Udaipur Kiran) । सौ साल पुराने मूल कानून की जगह लेने और व्यापार में सुगमता के लिए बॉयलर (संशोधन) विधेयक, 2024 को राज्यसभा ने बुधवार को पारित कर दिया। इसमें बॉयलर के अंदर काम करने वाले लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए विशेष प्रावधान किए गए हैं। इस विधयेक के पास होने से सरकार केंद्रीय बॉयलर बोर्ड का गठन कर सकेगी।
केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने बॉयलर (संशोधन) विधेयक, 2024 पर चर्चा का जवाब देते हुए कहा कि 1923 के अधिनियम में संशोधन के लिए यह बिल लाया गया है। इससे सरकार केंद्रीय बॉयलर बोर्ड का गठन कर सकेगी। पीयूष गोयल ने कहा कि ये बॉयलर्स विधयेक एक प्रकार से देश को सुरक्षित बनाता है।
पीयूष गोयल ने कहा कि इस विधेयक में बॉयलर के अंदर काम करने वाले लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए विशेष प्रावधान किए गए हैं। विधयेक में बॉयलर की मरम्मत का काम योग्य और सक्षम व्यक्तियों द्वारा करने का प्रावधान है। ये विधेयक बॉयलर अधिनियम, 1923 की जगह लेगा। उन्होंने कहा कि अनुमान है कि देश में 40 लाख से ज्यादा बॉयलर्स हैं, जिन्हें इससे फायदा होगा।
उन्होंने सदन को बताया कि सरकार का मकसद कामगारों को सुरक्षा मिले, जवाबदेही तय हो, जनता और उद्योग जगत पर विश्वास हो। गोयल ने चर्चा का जवाब देते हुए सदन को बताया कि 1863 में कोलकाता (तब कलकत्ता) में एक बॉयलर में विस्फोट हुआ, तब बंगाल काउंसिल ने एक कानून बनाया था। उन्होंने कहा कि इसके अलावा 6 दूसरे राज्यों में भी अलग-अलग कानून बने। 1920 में अंग्रेजों ने एक कमेटी बनाई, फिर 1923 में एक कानून बना। इसमें सुरक्षा के नियम बनाए गए थे।
इससे पहले केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री ने राज्य सभा में बॉयलर (संशोधन) विधेयक, 2024 को विचार एवं पारित करने के लिए पेश किया। यह विधेयक सुरक्षा को भी बढ़ाएगा, क्योंकि बॉयलर के अंदर काम करने वाले व्यक्तियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने और बॉयलर की मरम्मत योग्य एवं सक्षम व्यक्तियों द्वारा करवाने के लिए इस विधेयक में विशिष्ट प्रावधान किए गए हैं। यह विधयेक बॉयलर अधिनियम, 1923 की जगह लेगा। नए विधेयक में तीन अपराधों को अपराध से मुक्त करने और श्रमिकों के लिए सुरक्षा उपायों में सुधार करने का लक्ष्य रखा गया है।
—————
(Udaipur Kiran) / प्रजेश शंकर