नई दिल्ली, 20 मई (Udaipur Kiran) । राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मंगलवार को खगोल भौतिकी के क्षेत्र के दिग्गज डॉ. जयंत नार्लीकर के निधन पर शोक व्यक्त किया।
राष्ट्रपति ने एक्स पर पोस्ट कर लिखा कि खगोल वैज्ञानिक डॉ. जयंत नार्लीकर के निधन की खबर बेहद दुखद है। अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रशंसित वैज्ञानिक डॉ. नार्लीकर ने अपने काम के माध्यम से एक अमिट छाप छोड़ी है जो आने वाली पीढ़ियों को प्रेरित करेगी। विज्ञान को लोकप्रिय बनाने के उनके जुनून ने बड़ी संख्या में लोगों, खासकर युवाओं को शिक्षित करने में मदद की। मैं उनके परिवार के सदस्यों, दोस्तों और प्रशंसकों के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त करता हूं।
प्रधानमंत्री ने एक्स पर एक पोस्ट में लिखा कि डॉ. जयंत नार्लीकर का निधन वैज्ञानिक समुदाय के लिए एक बड़ी क्षति है। वह विशेष रूप से खगोल भौतिकी के क्षेत्र में एक महान शख्सियत थे। उनके अग्रणी कार्यों, खासकर प्रमुख सैद्धांतिक रूपरेखाओं को शोधकर्ताओं की पीढ़ियों द्वारा महत्व दिया जाता रहेगा। उन्होंने एक संस्थान निर्माता के रूप में अपनी पहचान बनाई, युवाओं के लिए सीखने और नवाचार के केंद्रों को तैयार किया। उनके लेखन ने विज्ञान को आम नागरिकों तक पहुंचाने में भी बहुत मदद की है। इस दुख की घड़ी में उनके परिवार और दोस्तों के प्रति संवेदना व्यक्त करता हूं।
उल्लेखनीय है कि प्रख्यात खगोल वैज्ञानिक, विज्ञान संचारक और पद्म विभूषण से सम्मानित डॉ. जयंत विष्णु नार्लीकर का मंगलवार को पुणे में निधन हो गया। वह 87 वर्ष के थे।
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(Udaipur Kiran) / सुशील कुमार
