काठमांडू, 22 अक्टूबर (Udaipur Kiran) । नेपाली सामाजिक कार्यकर्ता उर्मिला चौधरी को अमेरिका में ‘ग्लोबल एंटी रिसीज्म चैम्पियनशिप अवार्ड’ मिला है। अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने मंगलवार को एक कार्यक्रम के बीच चौधरी को इस पुरस्कार से सम्मानित किया। वह कानून का अध्ययन करने के बाद कमलरी प्रथा के उन्मूलन करने के लिए सामाजिक कार्यों में अपना योगदान दे रही है। वह 30 सहकारी समूहों के माध्यम से महिला सशक्तिकरण के लिए सामाजिक सेवा में शामिल हैं।
काठमांडू स्थित अमेरिकी दूतावास ने कहा कि कमलरी प्रथा से आई उर्मिला चौधरी पीढ़ी दर पीढ़ी दासी प्रथा के रूप में कहीं किसी परिवार के लिए काम करती रहती हैं। छह साल की उम्र से बंधुआ मजदूरी करने वाली उर्मिला चौधरी को 17 साल की उम्र में वहां से निकल कर स्कूली शिक्षा प्रदान की गई थी। उर्मिला ने नेपाल में हाशिए पर पड़ी जातियों और जातीय समुदायों के लिए मानवाधिकारों को आगे बढ़ाने के लिए अविश्वसनीय नेतृत्व और प्रतिबद्धता दिखाई है। शिक्षा, न्याय और आर्थिक विकास तक समान पहुंच की वकालत करते हुए प्रणालीगत नस्लवाद, भेदभाव और ज़ेनोफोबिया से निपटने के लिए उनका अथक काम वास्तव में प्रेरणादायक है।
संयुक्त राज्य अमेरिका के विदेश मंत्रालय ने बताया कि चौधरी को हाशिए पर और अल्पसंख्यक समुदाय में उनके योगदान के लिए पुरस्कार से सम्मानित किया गया है, जिससे इस तरह के श्रम शोषण को समाप्त करने में मदद मिलने में प्रोत्साहन मिलने की उम्मीद है। मंत्रालय के बयान में कहा गया है कि चौधरी ने मानवाधिकार संरक्षण में एक प्रमुख भूमिका निभा रही हैं। यह प्रतिष्ठित पुरस्कार पाने वाली उर्मिला चौधरी दूसरी महिला हैं। पिछले साल यह पुरस्कार सरस्वती नेपाली को दिया गया था। इस वर्ष नेपाल की उर्मिला चौधरी के अलावा मैक्सिको, नीदरलैंड घाना, उत्तरी मेसेडोनिया और बोलीविया के एक-एक व्यक्ति को यह पुरस्कार दिया गया है।
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(Udaipur Kiran) / पंकज दास