– मॉक ड्रिल में आधुनिक उपकरणों के माध्यम से सिखाए गए आग बुझाने के तरीके
भोपाल, 17 अक्टूबर (Udaipur Kiran) । मध्य प्रदेश पुलिस द्वारा लगातार पुलिस अधिकारियों और कर्मचारियों को फायर सेफ्टी की ट्रेनिंग दी जा रही है। प्रदेश के विभिन्न शासकीय कार्यालयों में विगत अग्नि दुर्घटनाओं को देखते हुए विशेष सतर्कता की आवश्यकता है। इसी तारतम्य में गुरुवार को पुलिस मुख्यालय के भूतल पर सुरक्षाकर्मियों को स्वयं को सुरक्षित रखते हुए आग पर काबू पाने का प्रशिक्षण दिया गया। अग्नि नियंत्रण संबंधी प्रशिक्षण में आधुनिक उपकरणों द्वारा आग बुझाने की मॉकड्रिल भी की गई।
मॉकड्रिल के दौरान तरल पदार्थों में लगी आग को पुलिस के जवानों ने अग्निशमन यंत्रों के प्रयोग से किस तरह आसानी से बुझाई जा सकती है, इसका प्रशिक्षण प्राप्त किया। सुरक्षाकर्मियों ने बिल्डिंगों, घरों, गोदामों आदि में लगी आग को धुएं और लपटों से बचकर बुझाने का प्रशिक्षण प्राप्त किया। मॉकड्रिल में प्रमुख रूप से डीएसपी (सुरक्षा) पुलिस मुख्यालय नदीम उल्लाह खान, पुलिस मुख्यालय के सुरक्षा इंचार्ज मुकेश सैनी, निरीक्षक मोहनलाल मेहरा व पुलिस फायर स्टेशन मंत्रालय, भोपाल के एसआई रूपचंद पंडित व उनकी टीम उपस्थित थी।
इन उपकरणों का दिया प्रशिक्षण
जनसम्पर्क अधिकारी आशीष शर्मा ने जानकारी देते हुए बताया कि मॉक ड्रिल के दौरान पुलिस अधिकारियों और कर्मचारियों को आग बुझाने में प्रयोग किए जाने वाले आधुनिक उपकरणों के संबंध में जानकारी दी गई। आग बुझाने के दौरान प्रयोग में आने वाले कलेक्टिंग ब्रिज, डिवाइडिंग ब्रिज, फायर मेन हेलमेट, फोम नोजल, अग्निशमन सिलेंडर एवं कॉर्टेज, टॉर्च, रिवॉल्विंग नोजल, यूनिवर्सल ब्रांच, न्यू लाइट(ब्रांच), ऑर्डनरी ब्रांच, एडॉफ्टर, जाली, फायर मेन एक्स, लॉक कटर, प्रॉक्सीमेटी सूट, एल्यूमिनियम सूट, कैमिकल सूट, ब्रीदिंग ऑपरेटर सेट, लाइफ जैकेट, हौज पाइप, फायर ब्लैंकेट, अग्निशमन यंत्र आदि की जानकारी दी गई।
आग को बुझाने में बरतें सावधानी
प्रशिक्षण के दौरान एसआई रूपचंद पंडित ने बताया कि आग को पांच तरह की होती है, जिन्हें बुझाने का तरीका भी अलग-अलग होता है। उन्होंने बताया कि इन्हें ए से ई तक की श्रेणी में रखा गया है। लकड़ी-कोयला में लगी छोटी आग को ए क्लास में रखा गया है। तरल पदार्थों में लगी आग को बी क्लास, गैसों में लगी आग को सी क्लास, मेटल में लगी आग को डी क्लास और इलेक्ट्रिक आग को ई क्लास की श्रेणी में रखा गया है। इन सभी आग को पानी या कैमिकल की मदद से बुझाया जाता है। पुलिस जवानों ने एल्यूमीनियम सूट पहनकर चार मिनट के भीतर किस तरह अनमोल जिंदगियां बचाई जा सकती है, इसके बारे में भी सुरक्षाकर्मियों को प्रशिक्षित किया।
इन नंबरों पर करें सूचित
आग की सूचना देने के लिए भोपाल में एमपीईबी के हेल्पलाइन नंबर 0755-2678251, 0755-2678369 पुलिस का हेल्पलाइन नंबर 0755-2555922, पुलिस फायर स्टेशन का हेल्पलाइन नंबर 0755-2441008 और नगर निगम के हेल्पलाइन नंबर 0755-2542222 पर कॉल कर किया जा सकता है।
अग्नि दुर्घटना होने पर यह करें
– फायर ब्रिगेड, पुलिस कंट्रोल रूम, पुलिस थाना, विद्युत विभाग कार्यालय एवं चिकित्सालय को सूचना दें।
– फायर फायटिंग दल फायर एक्सटिंग्यूशर अथवा पानी या रेत से अग्नि को प्रारंभिक स्थिति में बुझाएं । भवन के विद्युत प्रवाह को मेन स्विच से तत्काल कट-ऑफ करें।
– फायर अलार्म दल सभी को अग्नि दुर्घटना की चेतावनी अलार्म बजाकर दें।
– बचाव दल (इवेक्युएशन टीम) बिल्डिंग के व्यक्तियों को पूर्व निर्धारित योजना अनुसार सुरक्षित रास्तों से बाहर निकालकर सुरक्षित स्थान तक पहुंचाएं।
– भगदड़ नहीं करें। लिफ्ट का प्रयोग कतई न करें।
– संपत्ति बचाव दल महत्वपूर्ण व मूल्यवान सम्पत्ति को बाहर निकालें। अत्यधिक ज्वलनशील पदार्थों जैसे-पैट्रोल, कैरोसिन, प्लास्टिक, आदि को अग्नि दुर्घटना स्थल से दूर करें।
(Udaipur Kiran) तोमर