Uttrakhand

तौल केंद्रों पर चस्पा होगी किसानों की गन्ना पर्चियों की सूची

फाईल फोटो

हरिद्वार, 26 अक्टूबर (Udaipur Kiran) । इस बार इकबालपुर सहकारी गन्ना विकास समिति अपने सदस्यों की सुविधा के लिए नई व्यवस्था शुरू कर रही है। इसके तहत समिति किसानों की पर्चियां की सूची मैसेज के माध्यम से देने के साथ ही अपने संबंधित मिल के तौल केंद्रों पर भी चस्पा कराएगी, ताकि जो किसान कम पढ़े लिखे होने के चलते मैसेज नहीं देख पाए वह समिति के बजाय अपने तौल केंद्रों पर पहुंचकर पर्ची की जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।

गन्ना समितियां दो साल पहले तक किसानों को गन्ना पर्चियां मैन्युअल जारी किया करती थी। इसके बाद डिजिटलाइजेशन के चलते किसानों की पर्चियां उनके फोन पर मैसेज के माध्यम से आने लगी। इस व्यवस्था से समितियों का काम तो बहुत कम हो गया, लेकिन किसानों के सामने समस्या आने लगी। गन्ना पर्चियां मैसेज में आने से उन किसानों को तो फायदा था जो पढ़े लिखे हैं और स्मार्टफोन इस्तेमाल करते हैं, लेकिन उन किसानों के सामने दिक्कत आने लगी जो कम पढ़े लिखे हैं या फोन का इस्तेमाल नहीं करते। उन्हें पर्चियों की जानकारी के लिए बार-बार समितियां के चक्कर लगाने पड़ रहे थे।

ऐसे में किसान लंबे समय से पर्चियां मैसेज के साथ ही दोबारा से मैन्युअल जारी किए जाने की मांग भी करते आ रहे थे। इस बार पराई सत्र शुरू होने से पहले ही इकबालपुर सहकारी गन्ना विकास समिति ने अपने सदस्य किसानों के लिए नई व्यवस्था शुरू कर दी है। इस व्यवस्था के तहत गन्ना समिति से जिन किसानों की पर्चियां मैसेज के माध्यम से जारी की जाएंगी उन किसानों के नाम की सूची संबंधित तौल केंद्र पर चस्पा कर दी जाएगी। ऐसे में जो किसान मैसेज नहीं देख पाते वह सुबह या किसी भी समय केंद्र पर पहुंचकर अपनी पर्ची की जानकारी ले सकते हैं। अब उन्हें पर्चियों की जानकारी लेने के लिए गन्ना समिति के चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे।

ज्येष्ठ गन्ना विकास निरीक्षक बीके चौधरी ने बताया कि इस व्यवस्था से किसानों को काफी लाभ मिलेगा। उन्होंने कहा कि इस पराई सत्र से सभी तौल केंद्रों पर यह व्यवस्था कर दी गई है। इसके तहत तौल बाबू को गन्ना किसानों के नाम भेज दिए जाएंगे और कॉल प्रभारी अपने सेंटर पर किसानों के नाम की सूची चस्पा कर दिया जाएगा। उन्होंने बताया कि क्षेत्र में तौल केंद्र लगाने का काम शुरू कर दिया गया है। उम्मीद जताई जा रही है कि नंबर माह के पहले सप्ताह में मिल चालू कर दिए जाएंगे।

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(Udaipur Kiran) / डॉ.रजनीकांत शुक्ला

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