
झुंझुनूं, 6 मई (Udaipur Kiran) । झुंझुनूं जिले के बुडानिया गांव में मंगलवार को एक तेंदुआ (लेपर्ड) ने हड़कंप मचा दिया। सुबह पशुओं को चारा डाल रहे ससुर-बहू पर हमला करने के बाद यह तेंदुआ एक मकान में जा छिपा। रेस्क्यू के दौरान लेपर्ड ने ट्रैंकुलाइज करने पहुंचे वेटरनरी डॉक्टर अशोक तंवर पर हमला कर दिया, जिससे उन्हें हल्की चोट आई। करीब बारह घंटे तक चले रेस्क्यू ऑपरेशन के बाद शाम को तेंदुए को बेहोश कर पिंजरे में बंद कर लिया गया।
जानकारी के अनुसार तेंदुआ सुबह 5:30 बजे गांव में दाखिल हुआ और एक घर के बाहर ससुर-बहू पर झपट पड़ा। हमले की सूचना मिलते ही वन विभाग की टीम मौके पर पहुंची और तेंदुए की तलाश शुरू की। दोपहर तक तेंदुआ गांव के एक खंडहर में दिखाई दिया, लेकिन वहां से निकलकर वह एक मकान में जा छिपा।
जयपुर से पहुंची ट्रैंकुलाइजर टीम के डॉक्टर अशोक तंवर तेंदुए को बेहोश करने के लिए मकान में सीढ़ी के सहारे पहुंचे। तभी तेंदुआ अचानक उछल कर उन पर झपट पड़ा। इस दौरान आस-पास मौजूद ग्रामीणों ने लाठियों से शोर मचाया, जिससे तेंदुआ मकान से भागकर खेतों की ओर चला गया। आखिरकार शाम 5:30 बजे उसे ट्रैंकुलाइज कर सुरक्षित पकड़ा गया।
वन विभाग के अधिकारियों के मुताबिक यह करीब पांच साल का नर तेंदुआ था जो जंगल से रास्ता भटककर गांव पहुंच गया था। झुंझुनूं रेंजर विजय फगेड़ियां और रेंजर रंजन सुमन ने बताया कि पूरे अभियान में झुंझुनूं वन विभाग और जयपुर की टीमों ने मिलकर काम किया।
तेंदुए के रेस्क्यू के बाद ग्रामीणों ने राहत की सांस ली। वन विभाग ने तेंदुए को सुरक्षित पिंजरे में बंद कर लिया है और उसे जंगल में छोड़े जाने की प्रक्रिया आगे बढ़ाई जा रही है।
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(Udaipur Kiran) / रोहित
