
जम्मू, 3 जून (Udaipur Kiran) । जम्मू नगर निगम (जेएमसी) ने आगामी मानसून सीजन की तैयारी के लिए सभी 75 वार्डों में वर्षा जल निकासी नालों और नालों की सफाई के लिए एक व्यापक कचरा निकासी कार्य योजना शुरू की है। इस पहल का उद्देश्य बाढ़ और जलभराव को रोकना है, जो आमतौर पर भारी बारिश के दौरान निवासियों को प्रभावित करता है।
गाद निकासी अभियान का पहला चरण 15 मार्च 2025 को शुरू हुआ और 20 जून 2025 तक जारी रहेगा। यह समय सीमा सुनिश्चित करती है कि मौसम की पहली बारिश से संभावित नुकसान कम से कम हो। जम्मू क्षेत्र में संवेदनशील और निचले इलाकों पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है, जो नालों में गाद और ठोस कचरे के जमा होने के कारण बाढ़ के लिए विशेष रूप से प्रवण हैं, जिनमें उचित डिजाइन, आकार और ढलान का अभाव है।
जेएमसी में 140 से ज़्यादा नाले और 105 गहरे नाले हैं, जिन्हें पूरे साल नियमित सफाई की ज़रूरत होती है। इन नालों की लंबाई 250 किलोमीटर तक है, जबकि गहरे नाले 600 किलोमीटर तक फैले हुए हैं। कृष्णा नगर, शक्ति नगर, भगवती नगर, चांद नगर, कबीर नगर, गोविंद नगर, विशाल नगर, कबीर कॉलोनी, राजिंदर नगर, कैनाल रोड, सुभाष नगर, रामपुरा, जीवन नगर, नई बस्ती, नानक नगर, प्रीत नगर और त्रिकुटा नगर जैसे इलाकों को भारी बारिश के दौरान रुकावट और ओवरफ्लो होने की संभावना के कारण सर्वोच्च प्राथमिकता दी जा रही है।
इस ऑपरेशन को प्रभावी ढंग से अंजाम देने के लिए, जेएमसी ने खुदाई करने वाली मशीनें, बैकहो लोडर, छोटे और बड़े टिपर और 30 मज़दूरों की एक टीम सहित लोगों और मशीनरी को जुटाया है। कचरा निकालने का काम तय समय पर चल रहा है और युद्धस्तर पर किया जा रहा है। हर साइट पर एक समर्पित पर्यवेक्षक तैनात किया गया है जो दिन-प्रतिदिन की गतिविधियों की देखरेख करता है, ताकि गुणवत्ता और समय पर काम पूरा हो सके। संयुक्त आयुक्त (स्वास्थ्य एवं स्वच्छता) की देखरेख में मुख्य परिवहन अधिकारी (सीटीओ) और परिवहन अधिकारी (टीओ) समग्र प्रगति की सक्रिय निगरानी कर रहे हैं।
जम्मू नगर निगम मानसून की शुरुआत से पहले सभी कचरा निकालने की गतिविधियों को पूरा करने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है। निगम सभी संवेदनशील बिंदुओं पर बारीकी से निगरानी करना जारी रखेगा तथा एक कठोर निरीक्षण तंत्र बनाए रखेगा, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि शहर का जल निकासी बुनियादी ढांचा कार्यात्मक और प्रभावी बना रहे, तथा मानसून संबंधी चुनौतियों से सार्वजनिक जीवन और संपत्ति की सुरक्षा हो सके।
(Udaipur Kiran) / रमेश गुप्ता
