– कदम-कदम बढ़ाए जा, खुशी के गीत गाए जा…, अनुशासन और जोश के साथ किया कदमताल
– इंडियन मिलिट्री अकादमी (आईएमए) में पासिंग आउट परेड, देशभक्ति का जश्न और गौरव का पर्व
देहरादून, 14 दिसंबर (Udaipur Kiran) । भारतीय सैन्य अकादमी (आईएमए) की 155वीं पासिंग आउट परेड ने भारतीय सेना के गौरवशाली इतिहास और भारत-नेपाल के सैन्य संबंधों को नई ऊंचाइयों पर पहुंचाया। इस ऐतिहासिक आयोजन में मुख्य अतिथि के रूप में नेपाल सेना प्रमुख जनरल अशोक राज सिग्देल की उपस्थिति ने दोनों देशों के बीच सैन्य और सांस्कृतिक साझेदारी को और प्रगाढ़ किया।
भारत-नेपाल के गहरे सैन्य संबंधों की मजबूती
जनरल सिग्देल का यह दौरा भारत और नेपाल के बीच साझा सैन्य परंपराओं का प्रतीक बन गया। भारतीय और नेपाली सेनाओं के बीच वर्षों से चले आ रहे सामंजस्यपूर्ण सहयोग ने इस परेड को ऐतिहासिक बना दिया।
नवीन सैन्य नेतृत्व की शुरुआत
इस परेड के दौरान 456 भारतीय और 35 विदेशी कैडेट्स ने अपने प्रशिक्षण को सफलता से पूरा किया। परेड के बाद आयोजित पिपिंग सेरेमनी में नव-नियुक्त अधिकारियों ने अपनी शपथ ली और अपने कंधों पर सितारे लगाए। आईएमए की यह परेड न केवल सैन्य परंपरा का प्रतीक थी, बल्कि राष्ट्रप्रेम, समर्पण और एकता का भी उत्सव बन गई।
सूर्य की पहली किरण के साथ कदमताल
भारतीय सेना की सबसे प्रतिष्ठित संस्थाओं में से एक इंडियन मिलिट्री अकादमी (आईएमए) में आयोजित पासिंग आउट परेड देश के भावी सैन्य नेतृत्व को समर्पित था। आईएमए के ऐतिहासिक ड्रिल स्क्वायर पर सुबह-सुबह जैसे ही सूर्य की पहली किरण पड़ी, कैडेट्स ने अनुशासन और जोश के साथ कदमताल किया। दर्शक दीर्घा में बैठे परिजन, सैन्य अधिकारी और अन्य गणमान्य अतिथि इस भव्य आयोजन का गवाह बने। इस गौरवशाली अवसर पर मुख्य अतिथि नेपाल सेना प्रमुख जनरल अशोक राज सिग्देल ने परेड की सलामी ली। उन्होंने अपने प्रेरक संबोधन में नव-नियुक्त अधिकारियों को संबोधित करते हुए कहा कि आप भारतीय सेना के कंधों पर देश की सुरक्षा का भार उठाने वाले अधिकारी हैं। आपका हर कदम राष्ट्र की रक्षा, सम्मान और गौरव के लिए समर्पित होगा।
पिपिंग सेरेमनी, भावनाओं का चरम
परेड के बाद पिपिंग सेरेमनी का आयोजन किया गया। यह ऐसा क्षण था जब जेंटलमैन कैडेट्स के कंधों पर सितारे लगाए गए, जो उन्हें लेफ्टिनेंट का गौरव प्रदान करते हैं। परिजन अपने बच्चों के कंधों पर सितारे लगाते हुए गर्व से भावुक हो उठे। कई माता-पिता की आंखों में आंसू थे तो कुछ खुशी से गले मिलते नजर आए।
देश के प्रति अटूट निष्ठा
इसके बाद सभी नव-नियुक्त अधिकारियों ने राष्ट्रध्वज और भारतीय संविधान को साक्षी मानकर देश की सेवा और रक्षा की शपथ ली। इस दौरान पूरा परेड ग्राउंड देशभक्ति से सराबोर हो गया। नव-नियुक्त अधिकारियों ने कदम-कदम बढ़ाए जा, खुशी के गीत गाए जा जैसे गीत गाते हुए अपने संकल्प को व्यक्त किया।
उत्तराखंड का गर्व, स्थानीय कैडेट्स की सफलता
इस साल की परेड उत्तराखंड के लिए भी खास थी। राज्य के कई जेंटलमैन कैडेट्स ने प्रशिक्षण पूरा कर सेना में अधिकारी बनने का गौरव हासिल किया। उनके परिवारजनों ने कहा कि यह पल न केवल उनके लिए बल्कि पूरे उत्तराखंड के लिए गर्व का है।
समाप्ति और नए लक्ष्य की ओर
एंथम ऑफ द ब्रेव की धुन पर समाप्त हुई इस परेड ने सभी कैडेट्स को उनके उज्ज्वल भविष्य की ओर प्रेरित किया। इस आयोजन ने न केवल सैन्य नेतृत्व का उत्सव मनाया, बल्कि भारतीय और नेपाली सैनिकों के बीच आपसी सम्मान और साझेदारी को भी बल दिया।
491 कैडेट्स के कंधे पर चमके सितारे
इस ऐतिहासिक दिन पर 491 कैडेट्स ने आईएमए से सफलतापूर्वक पासिंग आउट किया। इनमें 155वें रेगुलर कोर्स, 44वें टेक्निकल एंट्री स्कीम, 138वें टेक्निकल ग्रेजुएट कोर्स, विशेष कमीशन अधिकारी (एससीओ-53) और 13 मित्र देशों के 35 विदेशी कैडेट्स शामिल थे। इनमें से दो कैडेट्स रॉयल नेपाल आर्मी के थे। कैडेट्स ने सारे जहां से अच्छा और कदम-कदम बढ़ाए जा जैसे देशभक्ति गीतों की धुनों पर अनुशासन और उत्साह के साथ मार्च किया।
इन्हें मिला पुरस्कार
रेव्यूइंग ऑफिसर जनरल अशोक राज सिग्देल ने उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले कैडेट्स को पुरस्कार प्रदान किए। इनमें एसीए जतिन कुमार को स्वॉर्ड ऑफ ऑनर, एयूओ प्रथम सिंह को गोल्ड मेडल (ऑर्डर ऑफ मेरिट में प्रथम), एसीए जतिन कुमार को सिल्वर मेडल (ऑर्डर ऑफ मेरिट में द्वितीय), बीयूओ मयंक ध्यानी को ब्रॉज मेडल (ऑर्डर ऑफ मेरिट में तृतीय), कैडेट चिराग यादव को टेक्निकल ग्रेजुएट कोर्स में प्रथम, कैडेट महिपाल सिंह को टेक्निकल एंट्री स्कीम में प्रथम, प्रबीन पांडेय (नेपाल) को विदेशी कैडेट्स में प्रथम, जेसोर कंपनी को शरदकाल 2024 में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन के लिए चीफ ऑफ आर्मी स्टाफ बैनर से सम्मानित किया गया।
देश का नाम : पास आउट कैडेट्स और कोर्स
बांग्लादेश: 1 (155 REG)
भूटान: 6 (155 REG), 10 (TES-44)
गाम्बिया: 2 (155 REG)
किर्गिस्तान: 1 (155 REG)
मॉरीशस: 2 (155 REG)
म्यांमार: 2 (155 REG)
नेपाल: 2 (155 REG)
श्रीलंका: 2 (155 REG), 1 (TES-44)
सूडान: 1 (155 REG)
ताजिकिस्तान: 2 (155 REG)
तंजानिया: 1 (155 REG)
उज़्बेकिस्तान: 1 (155 REG)
वियतनाम: 1 (155 REG)
(Udaipur Kiran) / कमलेश्वर शरण