
गुवाहाटी, 23 अप्रैल (Udaipur Kiran) । असम में भाजपा सरकार लोकतंत्र को पैरों तले रौंद रही है। मुख्यमंत्री डॉ. हिमंत बिस्व सरमा की अगुवाई में कांग्रेस प्रत्याशियों पर पुलिस का दमन कराया जा रहा है और जनता के लोकतांत्रिक अधिकारों को छीना जा रहा है। यह गंभीर आरोप बुधवार को गुवाहाटी के राजीव भवन में आयोजित एक संवाददाता सम्मेलन में अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के वरिष्ठ नेता और असम कांग्रेस मीडिया विभाग के प्रभारी चरण सिंह सप्रा ने लगाए।
उन्होंने कहा कि भाजपा अब झूठ, जुमला और जादूगरी (ठगी) की राजनीति कर रही है। पूरे देश में भाजपा का शासन इसी ट्रिपल ‘जे’ मॉडल पर चल रहा है – झूठ, प्रचार और ठगी। असम में लोकतंत्र की हत्या कर ‘मसल पावर’ से शासन चलाया जा रहा है।
सप्रा ने कहा कि पंचायत चुनाव से पहले विपक्ष को दबाने के लिए पुलिस बल का दुरुपयोग हो रहा है। अगर वोट लाठी के बल पर लिया जाएगा तो फिर लोकतंत्र का क्या मतलब रह जाएगा? भाजपा असम को राजनीतिक युद्धक्षेत्र बना रही है। असम में भय का माहौल है। उन्होंने कांग्रेस प्रवक्ता रीतम सिंह के खिलाफ दर्ज केसों और सांसद रकीबुल हुसैन की सुरक्षा हटाए जाने का हवाला देते हुए कहा कि यह विपक्ष को डराने और उनकी आवाज दबाने की कोशिश है।
मुख्यमंत्री पर निशाना साधते हुए सप्रा ने कहा कि ग़ौरव गोगोई और उनकी पत्नी के खिलाफ चरित्र हनन की कोशिश भाजपा की हताशा को दर्शाती है। उन्होंने मीडिया की स्वतंत्रता को लेकर भी चिंता जताई और आरोप लगाया कि सच उजागर करने वाले पत्रकारों को धमकाया जा रहा है।
उन्होंने कहा कि जनता अब इस डर के माहौल को खत्म करने को तैयार है और भाजपा को चुनौती दी कि अगर उनमें हिम्मत है तो वोट लाठी से नहीं, जनता के फैसले से लें।
संवाददाता सम्मेलन में सप्रा ने कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले की कड़ी निंदा की और आतंकियों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की मांग की। मृतकों को श्रद्धांजलि और उनके परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त करते हुए उन्होंने कहा कि मोदी सरकार आतंकवाद रोकने में पूरी तरह विफल रही है।
इस मौके पर एआईसीसी के मीडिया संयोजक हर्षद शर्मा, असम प्रदेश कांग्रेस कमेटी के मीडिया प्रमुख वेदव्रत बोरा, वरिष्ठ नेता मेहदी आलम बोरा, गोपाल शर्मा, नेतारंजन चौधुरी, रूपा कलिता, हैप्पी गोगोई और रूपक दास समेत कई नेता मौजूद थे।
(Udaipur Kiran) / श्रीप्रकाश
