
नई दिल्ली, 04 दिसंबर (Udaipur Kiran) । दिल्ली हाई कोर्ट ने पूर्व क्रिकेटर और कांग्रेस नेता नवजोत सिंह सिद्धू की अपनी पत्नी के चौथे चरण के कैंसर को आयुर्वेद और नियंत्रित डायट से ठीक करने के दावे की वैज्ञानिक जांच की मांग करने वाली याचिका पर सुनवाई करने से इनकार कर दिया है। चीफ जस्टिस मनमोहन की अध्यक्षता वाली बेंच ने कहा कि नवजोत सिंह सिद्धू का दावा उनका निजी विचार है और उनकी अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का हनन नहीं किया जा सकता है।
यह याचिका दिव्या राणा ने दायर की थी। कोर्ट ने याचिकाकर्ता से कहा कि नवजोत सिंह सिद्धू ने अपने दावे को मानने के लिए नहीं कहा था। कोर्ट ने कहा कि कुछ अच्छी पुस्तकें होती हैं और कुछ खराब। अब आपको तय करना है कि आप कौन सी पढ़ेंगे। याचिकाकर्ता ने कहा था कि स्वास्थ्य संबंधी दावों की प्रमाणिकता के बाद ही मीडिया संस्थानों और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म को उसके प्रसारण की अनुमति दी जानी चाहिए। उनके दावे से कैंसर के कई मरीजों को आशा की किरण दिखी थी कि उचित डायट प्लान के जरिये कैंसर के चौथे स्टेज में भी मरीज ठीक हो सकता है, लेकिन इस दावे का कोई वैज्ञानिक वेरिफिकेशन नहीं किया गया।
याचिका में मांग की गई थी कि नवजोत सिंह सिद्धू को निर्देश दिया जाए कि वो अपनी पत्नी का पूरा मेडिकल रिकॉर्ड उपलब्ध कराएं। याचिका में मांग की गई थी कि केन्द्रीय सूचना और प्रसारण मंत्रालय इस बात का रेगुलेशन बनाए कि मेडिकल और हेल्थ से संबंधित कोई भी सूचना बिना वेरिफिकेशन के प्रसारित न की जाए। याचिका में एम्स और आईसीएमआर से नवजोत सिंह सिद्धू के दावों की पड़ताल करने की मांग की गई थी।
(Udaipur Kiran) /संजय
(Udaipur Kiran) / वीरेन्द्र सिंह
