ग्वालियर, २2 जुलाई (Udaipur Kiran) ।
आज से श्रावण मास प्रारंभ हो गया। यह मास बारिश की मनोहारी फुहारों के लिए जाना जाता है लेकिन ग्वालियर में श्रावण के पहले दिन लोग भीषण उमस की वजह से पसीना-पसीना होते रहे। धूप भी इतनी तेज थी कि अधिकतम तापमान 38 डिग्री सेल्सियस के पार चला गया। ऐसे में लोग राहत की बारिश के लिए गगन की ओर ताक रहे हैं। हालांकि मौसम विभाग ने अगले 24 घंटे के दौरान बारिश की उम्मीद जताई है।
ग्वालियर में 19 जुलाई को हुई तेज बारिश को छोड़ दें तो एक पखवाड़े से भी अधिक समय से मानसून निष्क्रिय स्थिति में है। हालांकि बादल तो हर दिन नजर आते हैं लेकिन वे पसीज नहीं रहे। सोमवार को भी आसमान में बादल तो थे लेकिन घनत्व कम होने से अधिकांश समय धूप खिली रही। इस वजह से पिछले दिन की तुलना में आज अधिकतम तापमान 0.7 डिग्री सेल्सियस बढ़कर 38.1 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया जो औसत से 6.4 डिग्री सेल्सियस अधिक है जबकि न्यूनतम तापमान 0.3 डिग्री सेल्सियस गिरावट के साथ 28.7 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। यह भी औसत से 2.6 डिग्री सेल्सियस अधिक है। हवा में नमी भी काफी कम हो गई है। आज सुबह हवा में नमी 79 प्रतिशत दर्ज की गई जो औसत से 01 प्रतिशत कम है जबकि शाम को हवा में नमी 54 प्रतिशत दर्ज की गई जो औसत से 17 प्रतिशत कम है।
मौसम विज्ञान केन्द्र भोपाल से प्राप्त जानकारी के अनुसार इस समय छत्तीसगढ़ और उससे लगे पूर्वी मध्य प्रदेश में निम्न दबाव का क्षेत्र बना हुआ है। मानसून की अक्षय रेखा जैसलमेर, अजमेर, गुना, पूर्वी मध्य प्रदेश में बने निम्न दबाव क्षेत्र के केन्द्र से होते हुए बंगाल की खाड़ी तक विस्तृत है। पूर्वोत्तर राजस्थान में बना चक्रवातीय परिसंचरण मानसून रेखा में विलीन हो गया है। दक्षिण गुजरात एवं केरल तटों पर अपतटीय द्रोणिका बनी हुई है। इन मानसून प्रणालियों के प्रभाव से अगले 24 घंटे के दौरान ग्वालियर एवं चंबल संभाग में कुछ स्थानों पर हल्की से मध्यम बारिश हो सकती है।
(Udaipur Kiran)
(Udaipur Kiran) / शरद शर्मा / राजू विश्वकर्मा