हरिद्वार, 25 दिसंबर (Udaipur Kiran) । गोर्खाली महिला कल्याण समिति ने बैरागी कैम्प में गंगा किनारे वनभोज कार्यक्रम का आयोजन किया। इस दौरान महिलाओं और बच्चों ने नेपाली गीत संगीत और नेपाली संस्कृति पर आधारित सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किए।
कार्यक्रम का शुभारंभ मुख्य अतिथि चारु सहगल व वर्षा बिष्ट ने दीप प्रज्वलित कर किया। कार्यक्रम में हरिद्वार के अलावा रूड़की, लक्सर, देहरादून, ऋषिकेश, कोटद्वार आदि से भी बड़ी संख्या में नेपाली मूल के लोग शामिल हुए। कार्यक्रम के दौरान नेपाली व्यंजन परोसे गए। जिनका सभी ने आनन्द लिया।
गोर्खाली महिला कल्याण समिति की अध्यक्ष पदमा पांडेय व शारदा सुबेदी ने कहा कि वनभोज में महिलाओं और बच्चों ने उत्साह से भाग लिया और कार्यक्रम के माध्यम से नेपाली संस्कृति को दर्शाने के साथ ‘बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ’ का सन्देश भी दिया गया।
रेखा शर्मा व तनुजा पांडेय ने कहा कि वनभोज की शुरुआत सैकड़ों वर्ष पूर्व हुई थी। सर्दी के मौसम में महिलाएं अपने-अपने घर से सामान लाकर घने जंगल में जाकर खाना बनाती थी। इस दौरान महिलाएं और बच्चे पारंपारिक नेपाली वेशभूषा पहनकर नृत्य करते थे और वनभोज का आनन्द उठाते थे।
चारु सहगल एवं वर्षा बिष्ट ने कहा कि नेपाल और भारत की संस्कृति एक सामान है। दोनों देशों में रोटी-बेटी का रिश्ता होने के साथ भाई जैसा नाता भी है। हरिद्वार में वनभोज की शुरुआत डा.पदम प्रसाद सुबेदी ने बिल्वकेश्वर महादेव मंदिर के जंगल से 50 वर्ष पूर्व की थी।
इस दौरान गोर्खाली महिला कल्याण समिति की संरक्षक कमला सुबेदी, वंदना सुबेदी, शारदा सुबेदी, रेखा शर्मा, चंपा उपाध्याय, तनुजा पाण्डेय, रमा पाण्डेय, सपना खड़का, भगवती ओझा, मायारेउले, कल्पना ओझा, कल्पना बोहरा, लक्ष्मी घिमेरे, मंदिरा भंडारी, तारा अर्याल, कमला पौड़ेल, मनीषा शर्मा, अम्बिका उपाध्याय, गंगा उपाध्याय, पदम प्रसाद सुबेदी, महंत दिनेश दास, लोकनाथ सुबेदी, रामप्रसाद शर्मा, सुशील पाण्डेय, कमल खड़का, उदिम बहादुर खड़का सहित बड़ी संख्या में लोग मौजूद रहे।
(Udaipur Kiran) / डॉ.रजनीकांत शुक्ला