
गुवाहाटी, 20 फरवरी (Udaipur Kiran) । असम विधानसभा के बजट सत्र के तीसरे दिन गुरुवार को एआईयूडीएफ के विधायक अमीनुल इस्लाम के बुढ़ाचापरी अभयारण्य की सीमाओं के निर्धारण के मुद्दे पर उठाए गए प्रश्न के उत्तर में वन और पर्यावरण मंत्री चंद्र मोहन पटवारी ने बताया कि बुढ़ाचापरी अभयारण्य की सीमाएं 4406 हेक्टेयर हैं। 11 जुलाई, 1995 को असम सरकार के अध्यादेश संख्या ईआरडब्ल्यू. 31/92/पीटी/15 ने 1972 के वन्यजीव संरक्षण अधिनियम की धारा संख्या 26ए के माध्यम से सीमा निर्धारित की और 13 फरवरी, 2023 को पहली बार 19,500 हेक्टेयर क्षेत्र को अतिरिक्त रूप से जोड़ा गया।
मंत्री ने यह भी बताया कि बुढ़ाचापरी अभयारण्य और कोंसमारा आरक्षित वन क्षेत्र में किसी भी किसान की भूमि अवैध रूप से अधिग्रहित नहीं की गई है, लेकिन इसके अलावा कोंसमारा आरक्षित वन क्षेत्र पूरी तरह से अतिक्रमणकारियों के कब्जे में है। साथ ही उन्होंने कहा कि वन विभाग ने सीमा परिवर्तन कर किसी भी चर इलाके के निवासियों को परेशान नहीं किया है।
उल्लेखनीय है कि परिपूरक प्रश्न पूछते हुए विधायक इस्लाम ने वन विभाग पर आरोप लगाया था कि चर इलाके में रहने वाले एक सम्प्रदाय के लोगों को जबरदस्ती बेदखल किया जा रहा है।
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(Udaipur Kiran) / अरविन्द राय
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