
उदयपुर, 25 फ़रवरी (Udaipur Kiran) । राजस्थान के प्रख्यात लोककलाविज्ञ और उदयपुर के भारतीय लोक कला मंडल के पूर्व निदेशक डॉ. महेन्द्र भानावत का मंगलवार को उदयपुर में निधन हो गया। 87 वर्षीय डॉ. भानावत पिछले कई दिनों से अस्वस्थ चल रहे थे।
पुत्र डॉ. तुक्तक भानावत ने बताया कि मूलत: उदयपुर के कानोड़ कस्बे में 13 नवम्बर 1937 को जन्मे भानावत का अंतिम संस्कार बुधवार सुबह 9.30 बजे अशोक नगर स्थित मोक्षधाम में होगा।
दिवंगत डॉ. भानावत ने मोहनलाल सुखाड़िया विश्वविद्यालय उदयपुर से एम.ए. (हिन्दी) एवं 1968 में ‘राजस्थानी लोकनाट्य परम्परा में मेवाड़ का गवरीनाट्य और उसका साहित्य’ विषय पर पीएच.डी. की। आदिवासी जीवन और संस्कृति पर करीब 12 से ज्यादा पुस्तकें प्रकाशित हुई है।
वे भारतीय लोककला मण्डल, उदयपुर में 1958-62 में शोध सहायक रहे और आगे जाकर वहीं डायरेक्टर बने। डॉ. भानावत को राजस्थान साहित्य अकादमी द्वारा विशिष्ट साहित्यकार सम्मान, उत्तरप्रदेश हिन्दी संस्थान लखनऊ द्वारा लोकभूषण पुरस्कार, जोधपुर के पूर्व महाराजा गजसिंह द्वारा मारवाड़ रत्न कोमल कोठारी पुरस्कार सहित कई पुरस्कार मिले।
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(Udaipur Kiran) / सुनीता
