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नाबालिग पुत्री से दुष्कर्म करने वाले पिता को आजीवन सश्रम कारावास की सजा

सजा

पलामू, 19 मई (Udaipur Kiran) । गढवा सिविल कोर्ट में पोक्सो के विशेष न्यायाधीश दिनेश कुमार की अदालत ने सोमवार को नाबालिक पुत्री से साथ दुष्कर्म के आरोपित पिता को अंतिम सांस तक के लिए आजीवन सश्रम कारावास और एक लाख रुपये आर्थिक जुर्माना की सजा सुनाई। इस संबंध में नाबालिग लड़की के दादा ने 15 मई 2023 को मामला दर्ज कराया था।

पीड़िता अपने घर में मायूस रहा करती थी। उसने दादी को पूरी जानकारी दी। बाद में जब दादा ने पूछताछ की तो बताई कि ईद से पहले रोजा के समय उसके साथ दुष्कर्म किया गया। अब्बू घर में कई बार गलत काम किए और डरा धमका कर बोलते हैं कि यह बात किसी को बताएगी तो तेरा जीभ काट देंगे और डैम में फेंक देंगे। यह बात उसने अम्मी को बतायी। जब इस संबंध में परिवार के लोगों ने समझाने और पूछताछ की तो पिता ने गाली गलौज कर मारपीट करने की धमकी दी।

पीड़िता के दादा ने इसे लेकर पंचायती की। पंचायती के बाद नाबालिग लड़की को अपने साथ रखने लगा तो अभियुक्त जान से मारने की धमकी देने लगा। ऐसे में इस संबंध में एफआइआर की गयी। 20 मई 2023 को गढ़वा पुलिस ने अभियुक्त को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया एवं उसके विरुद्ध भादवि की धारा 376 एबी 5/6 पोक्सो एक्ट के तहत आरोप पत्र समर्पित किया।

न्यायालय की ओर से विभिन्न धाराओं में संज्ञान लेते हुए आरोपित के विरुद्ध आरोप गठन कर त्वरित कार्रवाई करते हुए अभियोजन पक्ष को साक्ष्य प्रस्तुत करने के लिए तिथि निर्धारित की गई। लोक अभियोजक उमेश दीक्षित की ओर से आठ साक्षियों का साक्ष्य प्रस्तुत कराया गया, जबकि बचाव पक्ष की ओर से दो साक्षियों का साक्ष्य प्रस्तुत किया गया।

उपलब्ध दस्तावेज और साक्ष्य के आधार पर न्यायालय की ओर से आरोपी का बयान दर्ज कर बचाव पक्ष की ओर से अधिवक्ता नित्यानंद दुबे को बहस करने का मौका प्रदान करते हुए लोक अभियोजक उमेश दीक्षित को भी पक्ष रखने का मौका दिया।

तत्पश्चात दोनों पक्षों की सुनवाई करते हुए आरोपित को दोषी करार दिया गया। सजा की बिंदु पर सुनवाई कर अभियुक्त को आजीवन सश्रम कारावास एवं 10 हजार आर्थिक जुर्माना के सजा सुनाते हुए न्याय हि और निर्णय की एक कॉपी निःशुल्क प्रदान किया गया।

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(Udaipur Kiran) / दिलीप कुमार

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