रांची, 03 दिसंबर (Udaipur Kiran) । टेंडर कमीशन घोटाला मामले में आरोपित झारखंड के पूर्व मंत्री आलमगीर आलम की डिस्चार्ज पिटीशन कोर्ट से खारिज हो गई है। धन-शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) के विशेष न्यायाधीश पीके शर्मा की कोर्ट ने मंगलवार को फैसला सुनाते हुए डिस्चार्ज पिटीशन खारिज कर दी।
इससे पूर्व सोमवार को सुनवाई पूरी होने के बाद कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रखा लिया था। आलम की ओर से 25 नवंबर को डिस्चार्ज पिटीशन दाखिल की गयी थी।
मामले में आरोपितों पर आरोप गठित होना है। इससे पहले खुद पर लगे आरोप को मुक्त कराने के लिए आरोपितों ने डिस्चार्ज पिटीशन दाखिल किया है। मामले में ग्रामीण विकास विभाग के निलंबित चीफ इंजीनियर वीरेंद्र राम और उनके परिजन सहित कई सहयोगियों की डिस्चार्ज पिटीशन खारिज हो चुकी है। ईडी ने 15 मई को आलमगीर आलम को गिरफ्तार किया था। गिरफ्तारी के बाद से वे जेल में बंद है। टेंडर आवंटन में कमिशन लेने का उनपर आरोप है।
टेंडर कमीशन घोटाला में ईडी ने सबसे पहले 21 फरवरी, 2023 को बड़ी कार्रवाई की थी। निलंबित चीफ इंजीनियर वीरेंद्र राम के रांची जमशेदपुर पटना और दिल्ली सहित कई ठिकाने पर छापेमारी की गई थी। छापेमारी के बाद वीरेंद्र राम सहित अन्य को ईडी ने गिरफ्तार किया था। ईडी की दूसरी बड़ी कार्रवाई इस वर्ष 6 और 7 मई को हुई थी। इसमें कई इंजीनियर्स, कांट्रेक्टर्स और पूर्व मंत्री आलमगीर आलम के पीएस के ठिकानों पर ईडी ने छापेमारी की थी। आलमगीर आलम के पीएस संजीव लाल के नौकर जहांगीर आलम के ठिकाने से 32 करोड़ कैश बरामद हुए थे। इसके बाद पूर्व मंत्री आलमगीर आलम से दो दिनों की पूछताछ के बाद ईडी ने 15 मई को गिरफ्तार कर लिया था।
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(Udaipur Kiran) / विकाश कुमार पांडे