गुप्तकाशी, 29 जुलाई (Udaipur Kiran) । श्रवण मास के दूसरे सोमवार को केदार घाटी के सभी शिवालयों में भक्तों की खासी भीड़ रही। श्रद्धालुओं ने भगवान शिव का रुद्राभिषेक कर सुख समृद्धि की कामना की। पौराणिक धरोहरों में शुमार नारायण कोटि मंदिर में श्रद्धालुओं ने भगवान वीरभद्र, शंकर का रुद्राभिषेक कर सत्यनारायण भगवान की मूर्तियां का पूजन अर्चन किया। इसी के साथ मंदिर में रखे हुए पांडव शास्त्रों का भी अभिषेक करवाया गया।
वर्तमान में उत्तराखंड का पहला नवग्रह मंदिर नारायण कोटि में ही स्थित है। मान्यता है कि जो श्रद्धालु श्रावण मास में लक्ष्मी नारायण, वीरभद्र मंदिर में आकर पूजन अर्चन करता है, उसकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। इस स्थान पर स्वयंभू विशाल शिवलिंग है जिसे पंचामृत से स्नान करा भक्त अपने लिए सुखद भविष्य की कामना करता है।
आचार्य उत्तम प्रसाद भट्ट ने बताया कि संपूर्ण केदार घाटी का यह एक ऐसा मंदिर है, जहां पर शिव शंकर, लक्ष्मी माता, वीरभद्र तथा पांडवों के अस्त्र शस्त्रों की भी पूजा होती है। उन्होंने बताया कि श्रावण मास के सोमवार के दिन हजारों की संख्या में इस मंदिर में श्रद्धालु आकर मत्था टेकते हैं।
(Udaipur Kiran) / बिपिन / Satyawan / वीरेन्द्र सिंह