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युवाओं की दक्षता का विकास, प्रदेश सरकार की प्राथमिकता : राजेश धर्माणी

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सोलन, 2 अगस्त (Udaipur Kiran) । वर्तमान एवं भविष्य की चुनौतियों को सफलतापूर्वक समझकर सुलझाने वाले युवा ही सही रोज़गार प्राप्त कर सकते हैं। राज्य सरकार उद्योग जगत के साथ मिलकर इस दिशा में कार्य कर रही है ताकि हमारे युवा बेहतर रोज़गार प्राप्त कर सकें और उद्योगों को कुशल रूप से दक्ष युवा मिल सके।

नगर नियोजन, आवास प्रबंधन, तकनीकी शिक्षा, व्यावसायिक तथा औद्योगिक प्रशिक्षण मंत्री राजेश धर्माणी ने कहा कि प्रदेश सरकार तकनीकी शिक्षा के पाठ्यक्रम में उद्योग जगत की आवश्यकताओं के अनुरूप बदलाव करने लिए सतत् प्रत्यनशील है।

राजेश धर्माणी शुक्रवार को सोलन ज़िला के बद्दी में बद्दी-बरोटीवाला-नालागढ़ उद्योग संघ (बी.बी.एन.आई.ए.) एवं हिमाचल प्रदेश कौशल विकास निगम के सहयोग से आयोजित एक दिवसीय राज्य स्तरीय औद्योगिक परामर्श कार्यशाला की अध्यक्षता कर रहे थे।

राजेश धर्माणी ने कहा कि इस कार्यशाला का मुख्य उद्देश्य उद्योग में तकनीकी कौशल और शिक्षा की मांग को समझना है। उन्होंने कहा कि उद्योग की आवश्यकताओं के अनुरूप तकनीकी शिक्षा प्रदान की जानी आवश्यक है ताकि आर्थिक विकास और रोज़गार का समन्वय स्थापित हो सके।

राजेश धर्माणी ने कहा कि युवाओं को उद्योग जगत की आवश्यकताओं के अनुरूप दक्ष बनाना समय की मांग है। उन्होंने कहा कि इस उद्देश्य की पूर्ति में उद्योग जगत का सहयोग आवश्यक है।

तकनीकी शिक्षा मंत्री ने कहा कि उद्योग जगत के सुझाव युवाओं के कौशल उन्नयन के लिए महत्वपूर्ण है। उन्होंने कहा कि कुशल युवा को उद्योग जगत बेहतर प्रशिक्षण प्रदान कर अच्छा रोज़गार उपलब्ध करवा सकते हैं। उन्होंने कहा कि युवा ही देश की वास्तविक शक्ति है और सही दिशा में उचित कौशल प्रदान कर युवाओं की ऊर्जा का समुचित उपयोग किया जा सकता है।

तकनीकी शिक्षा मंत्री ने कहा कि प्रदेश में वर्तमान में 152 औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान, 16 पॉलीटेकनिक संस्थान तथा 5 इंजीनियरिंग महाविद्यालय हैं। उन्होंने कहा कि इसके अतिरिक्त प्रदेश में एक राष्ट्रीय तकनीकी संस्थान तथा भारतीय तकनीकी संस्थान कार्यरत हैं। इसके अतिरिक्त निजी क्षेत्र में भी विभिन्न तकनीकी संस्थानों के माध्यम से युवाओं के कौशल को निखारा जा रहा है।

(Udaipur Kiran)

(Udaipur Kiran) / संदीप शर्मा शुक्ला

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