Uttrakhand

कांग्रेस हमेशा रही है आरक्षण विरोधी:स्वराज विद्वान

फोटो-26 एनटीएच 24-नई टिहरी में बुधवार को नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी का पुतला जलाते भाजपाई।

-कांग्रेस को आरक्षण विरोधी बताते हुए टिहरी में राहुल गांधी का पुतला दहन किया

नई टिहरी, 25 सितंबर (Udaipur Kiran) । अनुसूचित जाति मोर्चा की राष्ट्रीय मंत्री स्वराज विद्वान ने बुधवार को जिला भाजपा कार्यालय में पत्रकार वार्ता कर कांग्रेसी को आरक्षण विरोधी दल बताया। वार्ता के बाद हनुमान चौक पर आरक्षण विरोधी बयान को लेकर लोकसभा के नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी का पूतला भी दहन किया।

स्वराज विद्वान ने बुधवार को भाजपा कार्यालय में पत्रकारों से बातचीत में कहा कि कांग्रेस ने हमेशा ही अनुसूचित जाति, जनजाति और ओबीसी वर्ग को केवल वोट बैंक के रूप में प्रयोग किया है। कांग्रेस शुरू से ही आरक्षण की विरोधी रही है। जबकि भाजपा ने हमेशा अपवंचित वर्गों के लिए कार्य किया है। केंद्र की मोदी सरकार ने एससी, एसटी और ओबीसी वर्ग के लिए बेहतर योजनाएं चलाकर उन्हें मुख्यधारा से जोड़ने का कार्य किया है। भाजपा संविधान की मूल भावना के अनुरूप काम कर रही है, जबकि कांग्रेस के नेता अनर्गल बयानबाजी से समाज को बांट रहे हैं। आगे कहा कि कांग्रेस नेता राहुल विदेशों में जाकर भारत को बदनाम कर रहे हैं। वह बयान दे रहे हैं कि भाजपा सरकार आरक्षण खत्म करे। सच्चाई यह है कि अब तक हुए 106 बार संविधान संशोधन में से 98 बार कांग्रेस की सरकार ने संशोधन किए। भाजपा की मोदी सरकार ने महज 8 बार संविधान संशोधन किए। जिसमें एससी-एसटी आयोग को संवैधानिक दर्जा, गरीब सवर्णों को ईडब्ल्यूएस के तहत नौकरियों में आरक्षण जैसी निर्णय शामिल हैं। कांग्रेस ने संविधान निर्माता बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर का हर पल विरोध किया। पूर्व पीएम जवाहर लाल नेहरू ने 1952 आम चुनाव और 1954 के उप चुनाव में अंबेडकर को हराने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ी। मंडल कमीशन की रिपोर्ट को तत्कालीन पीएम इंदिरा गांधी और बाद में राजीव गांधी ने ठंडे बस्ते में डाला। संविधान की किताब हाथ में लेकर चलने वाले राहुल गांधी का परिवार शुरू से ही आरक्षण विरोधी रहा है। जबकि पीएम मोदी ने कहा कि जब तक वह हैं, आरक्षण को कोई खत्म नहीं कर सकता।

पुतला जलाने वालों में जिलाध्यक्ष राजेश नौटियाल, विधायक किशोर उपाध्याय, एससी मोर्चा जिलाध्यक्ष राजेंद्र कोहली, चतर सिंह, डॉ. प्रमोद उनियाल, राकेश लवली, विजय कठैत, गब्बर सिंह, मायाराम थपलियाल, जयेंद्र पंवार, असगर अली, रवि कुमार, विनीत उनियाल मौजूद रहे।

(Udaipur Kiran) / प्रदीप डबराल

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