– पेट्रोलिंग के दौरान हुआ था हादसा, पानी के तेज बहाव में बह गए थे आईटीबीपी के निरीक्षक चंद्र मोहन
– देहरादून के जौलीग्रांट के रहने वाले थे चंद्र मोहन, गृह निवास पर होगा अंतिम संस्कार
देहरादून, 26 जुलाई (Udaipur Kiran) । वीरभूमि उत्तराखंड का एक और लाल देश की सेवा करते हुए बलिदान हो गया। भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) के निरीक्षक चंद्र मोहन सिंह (55) भारत-चीन सीमा पर युद्ध क्षेत्र में विशेष पेट्रोलिंग के दौरान शहीद हो गए। निरीक्षक चंद्र मोहन सिंह की शहादत की सूचना पर शोक की लहर दौड़ गई।
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने भारत-चीन सीमा पर पेट्रोलिंग के दौरान कर्तव्य पथ पर शहीद हुए देहरादून निवासी आईटीबीपी निरीक्षक चंद्र मोहन सिंह की शहादत पर उन्हें नमन किया। मुख्यमंत्री धामी ने ईश्वर से दिवंगत आत्मा को अपने श्रीचरणों में स्थान देने एवं शोक संतप्त परिजनों को यह दुःख सहने की शक्ति प्रदान करने की प्रार्थना की।
दरअसल, गत 25 जुलाई को एक विशेष सूचना पर शॉर्ट-रेंज पेट्रोलिंग के दौरान वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) के पास हिमाचल प्रदेश के लाहौल और स्पीति में भारत अग्रिम चौकी से आगे करग्युपा नाला पार करते वक्त वह नाले में गिर गए और पानी के तेज बहाव में बह गए। सिंह को 100 मीटर की दूरी पर जवानों ने निकाला और पास के आर्मी अस्पताल सुमडो में भर्ती कराया, लेकिन उनकी जान नहीं बच सकी। निरीक्षक चंद्र मोहन देहरादून के डोईवाला तहसील स्थित दुर्गा चौक जौलीग्रांट के रहने वाले थे।
वह भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) में 24 सितंबर 1987 में बतौर कांस्टेबल (जीडी) भर्ती हुए थे और वर्तमान में निरीक्षक (जीडी) के पद पर तैनात थे। वाहिनी में तैनाती के दौरान सिंह ने अपनी ड्यूटियों के अतिरिक्त अन्य सौंपी गई ड्यूटियों को समय-समय पर बड़ी मेहनत, लगन एवं उत्कृष्ट कार्यक्षमता के साथ पूरा किया। वह अपनी समर्पित और कर्तव्यनिष्ठा के लिए जाने जाते थे। मार्शल आर्ट में दक्षता के साथ उन्होंने अपने कार्य से देश का नाम रौशन किया था। शहीद निरीक्षक चंद्र मोहन का अंतिम संस्कार गृह निवास जौलीग्रांट में किया जाएगा।
(Udaipur Kiran) / कमलेश्वर शरण / वीरेन्द्र सिंह