




जौनपुर,17 अप्रैल (Udaipur Kiran) ।मछलीशहर के बसिरहा गांव में मंगलवार की शाम पाकिस्तान की जेल में बंद मछुआरे घुरहू बिंद के आत्महत्या का समाचार मिलते ही गांव में मातम छा गया।मत्स्य विभाग की निरीक्षक संभाशी त्रिपाठी ने बसिरहा गांव पहुंच बताया कि मत्स्य निदेशालय लखनऊ से यह सूचना मिली है कि पाकिस्तान जेल में 4 साल से बंद घुरहू बिंद ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर लिया है।यह समाचार सुनते ही परिजनों में कोहराम मच गया।घुरहू बिंद 2020 में गुजरात के ओखा बंदरगाह के पास मछली पकड़ने के दौरान गलती से भारतीय जल सीमा पार कर गए थे जिससे पाकिस्तान तट रक्षकों ने उन्हें पकड़कर जेल में बंद कर दिया था। उनके साथ गांव के अन्य तीन लोग और भी थे। वे पिछले 4 साल से पाकिस्तान जेल में बंद थे। जिससे परिवार के लोग लगातार उन्हें छुड़वाने को लेकर जन प्रतिनिधि और अधिकारियों से गुहार लगा रहे थे।घुरहू बिंद की आर्थिक स्थिति बड़ी ही दयनीय है। गांव में रहने को घर नहीं है। जो कच्चा मकान था वह भी गिर कर खंडहर में तब्दील हो गया है। किसी तरह परिवार मजदूरी करके टीन सेट की नीचे गुजर बसर कर रहा है।अब परिवार को शव आने का इंतजार है। पर ठीक से कोई भी अधिकारी यह नहीं बता पा रहा है की शव कब तक गांव पहुंचेगा।वहीं मृतक के साथ अन्य बंद मछुआरे की चिट्ठी वाट्सएप पर गांव में वायरल हुआ है जिसमें घुरहू बिंद के मौत 15 दिन पहले होना बताया जा रहा है।परिवार के लोगों का मांग है कि शव को जल्द से जल्द लाया जाए और दोबारा जिले पर शव का पीएम कराया जाए जिससे मौत की असली वजह पता चल सके। वहीं इस मामले में गुरुवार को जिलाधिकारी डॉ दिनेश चंद्र सिंह ने बताया कि बसीरहा गांव के मछुआरे घुरहू बिंद की पाकिस्तान के कराची जेल में मृत्यु हो गई है। उनके पार्थिव शरीर के गांव पहुंचने पर परिवार को हर संभव सहायता दी जाएगी। मुख्यमंत्री के निर्देश पर गरीबी रेखा के नीचे रहने वाले परिवारों को विभिन्न योजनाओं से जोड़ा जाएगा। इस संबंध में तहसीलदार, मत्स्य अधिकारी और खंड विकास अधिकारी की तीन सदस्यीय समिति बनाई गई है। यह समिति स्थिति का सत्यापन करेगी।मृतक के परिवार को प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत घर दिया जाएगा। विधवा पेंशन की सुविधा भी उपलब्ध कराई जाएगी। मृतक के बच्चों को मत्स्य विभाग और समाज कल्याण विभाग की योजनाओं से लाभान्वित किया जाएगा।
(Udaipur Kiran) / विश्व प्रकाश श्रीवास्तव
