अनूपपर, 15 जनवरी (Udaipur Kiran) । जिले के ग्रमीण क्षेत्रों में इन दिनों बाघ और हाथियों के भय के साये में दिन-रात काट रहें हैं ग्रमीण, दिन में बाघ का और रात में हाथियों का आंतक बना हैं। वन परिक्षेत्र जैतहरी अंतर्गत ग्राम पंचायत भेलमा के केरहा गांव के नजदीक जंगल में मवेशी चराते एक युवक अचानक सामने आए बाघ के डर से पेड़ में चढ़ गया कर अपनी जान बचाई। वही दोनों हाथियों ने रात भर ग्राम पंचायत गोबरी में ग्रमीणों के घरों में तोड़फोड़ कर खेतों में लगी फसलों को अपना आहार बनाते हुए बुधवार की सुबह जंगल चले गयें।
बुधवार की शाम वन परिक्षेत्र जैतहरी अंतर्गत ग्राम पंचायत भेलमा के केरहा गांव के समीप स्थित सूरपानी जंगल के समीप केरहा निवासी 26 वर्षीय महेंद्र सिंह अपने मवेशियों को लेकर चरा रहा था तभी अचानक अचानक जंगल से बाघ निकल कर एक बैल पर हमला करने की कोशिश किया जिसे देख महेंद्र ने हो-हल्ला किया जिस पर बाघ को अपनी तरफ आते देख घबराकर पेड़ में चढ़ गया, जिसके बाद टाइगर भी पेड़ के पास बैठ गया घबरायें युवक ने फोन कर गांव में सूचना दी जिसके कुछ देर बाद गांव के लोगों के आने पर हो-हल्ला करने पर बाध वहां से चला गया। वह कौन सा बाघ था इसकी पहचान अभी नहीं हो पायी है।
वही मंगलवार की रात वन परिक्षेत्र जैतहरी के ग्राम गोबरी के जंगल से निकलकर ठेंगरहा गांव से ग्रापं पगना के बरटोला,कछराटोला में विचरण करते हुए गांव के कुछ लोगों के मकानो में तोड़फोड़ कर घर के अंदर रखे तथा खेतों में लगे विभिन्न तरह के अनाजों को रात भर अपना आहार बनाया, बुधवार की सुबह फिर गोबरी के जंगल में चले गये। आज की रात किस ओर जाएंगे यह देर रात होने पर ही पता चल सकेगा।
(Udaipur Kiran) / राजेश शुक्ला