
दुमका, 7 जून (Udaipur Kiran) । राज्य में जनजातीय समुदाय की स्थिति काफी दयनीय हो चुकी है। हेमंत सरकार अपने वोट बैंक के खातिर इसे पिछड़ा अवस्था में ही रखना चाहती है। ये बातें पूर्व मुख्यमंत्री रघुवर दास ने दुमका परिसदन भवन में शनिवार को प्रेसवार्ता में कही। दास ने कहा कि राज्य का एक ग्रुप इसे ईसाई प्रदेश तो दूसरा ग्रुप इसे इस्लामी प्रदेश बनाना चाहता है। अगर यही हाल रहा तो तो झारखंड की स्थिति नागालैंड और मिजोरम जैसी हो जायेगा। इसे बचाने के लिए झारखंड में एक और हूल (आन्दोलन) की, उलगुलान की आवश्यकता है। मैंने इसके लिए प्रयास शुरू कर दिया है। बरसात के बाद जनजातीय समाज को जागरूक करने के लिए मैं पद यात्रा पर निकलूंगा।
पेसा कानून लागू करने का किया मांग
दास ने हेमंत सरकार से यह मांग किया है कि जल्द से जल्द पेसा कानून लागू करें। इससे जनजातीय समुदाय का सर्वांगीण विकास होगा। उन्होंने कहा कि कुछ भारत सरकार के सचिव ने राज्य सरकार को पत्र लिखकर कहा है कि 1400 करोड रुपए का फंड तभी दिया जा सकता है। जब आप पेसा कानून लागू करेंगे। रघुवर दास ने सरकार से यह सवाल किया कि आखिरकार किसके दबाव में पेसा कानून लागू नहीं हो रहा है। उन्होंने कहा कि आज आदिवासियों के हित और विकास के नाम पर अबुआ सरकार सत्ता में तो आ गई है, लेकिन वह इस समुदाय के लिए कोई भी काम नहीं कर रही। वर्षों से यह समाज विकास के लिए संघर्ष कर रहा है। इसके भी अपने सपने हैं, आकांक्षाएं हैं पर उस पर हेमंत सोरेन का ध्यान नहीं है। रघुवर दास ने कहा कि हेमंत सोरेन ने मंईया सम्मान योजना की घोषणा कर वोट तो ले लिया पर लगातार उसके लाभुकों की संख्या में कटौती कर रही है। इस तरह से यह सरकार महिलाओं की भी हितैषी नहीं है।
घुसपैठ की मुद्दा है काफी खतरनाक
पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि आज झारखंड में जो घुसपैठ हो रहा है, वह काफी खतरनाक है। उन्होंने कहा कि मेरे कार्यकाल में पीएफआई पर प्रतिबंध लगाया गया था। लेकिन हेमंत सरकार उसे छूट दे रही है। पीएफआई और सिमी में कोई अंतर नहीं है। धर्मांतरण और घुसपैठ को यह सरकार समर्थन दे रही है। जो इस राज्य के लिए काफी चिंताजनक है। अपने राजनीतिक भविष्य के संबंध में उन्होंने कहा कि मैं भाजपा के कार्यकर्ता के तौर पर काम कर रहा हूं। मुझे भारतीय जनता पार्टी ने काफ़ी सम्मान दिया है। अब मुझे किसी पद की लालसा नहीं है।
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(Udaipur Kiran) / नीरज कुमार
