गोलाघाट (असम), 26 मई (Udaipur Kiran) । ऐतिहासिक नुमलीगढ़ रिफाइनरी से 22 बांग्लादेशी मजदूरों की गिरफ्तारी को लेकर असम जातीयतावादी युवा छात्र परिषद (अजायुछाप) ने आज कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। संगठन ने कहा कि असम आंदोलन के शहीदों के बलिदान से बनी इस रिफाइनरी में अब विदेशी नागरिकों को काम पर लगाया जा रहा है, जो अत्यंत निंदनीय है।
अजायुछाप के केंद्रीय उपाध्यक्ष विपुल बोरा ने कहा कि बाहरी कंपनियों ने गुवाहाटी और धुबड़ी से बांग्लादेशियों को लाकर यहां नियुक्त किया था। ज्ञात हो कि बीती देर रात को गोलाघाट पुलिस द्वारा छापेमारी कर रिफाइनरी से 22 बांग्लादेशी नागरिकों को गिरफ्तार किया गया।
संगठन ने सवाल उठाया कि किन कंपनियों ने इन विदेशियों को नियुक्त किया, इसकी जानकारी अब तक रिफाइनरी प्रशासन ने सार्वजनिक नहीं की है। उपाध्यक्ष ने रिफाइनरी प्रबंधन की चुप्पी की आलोचना करते हुए कहा कि कम वेतन में स्थानीय युवाओं को दरकिनार कर बाहरी लोगों को काम पर रखना अस्वीकार्य है।
अजायुछाप ने यह भी आशंका जताई कि रिफाइनरी में और भी बांग्लादेशी काम कर रहे हो सकते हैं। संगठन की बोकाखात जिला समिति के कार्यालय में सोमवार को आयोजित संवाददाता सम्मेलन में उपाध्यक्ष ने चेतावनी दी कि अगर रिफाइनरी प्रशासन ने जल्द ही बाहरी कंपनियों की पूरी जानकारी सार्वजनिक नहीं की तो संगठन उग्र आंदोलन करेगा।
(Udaipur Kiran) / श्रीप्रकाश
