मुंबई, 19 मई (Udaipur Kiran) । महाराष्ट्र के राज्यपाल सीपी राधाकृष्णन ने गरीबों और समाज के वंचित वर्गों की शिक्षा के लिए श्री नारायण मंदिर समिति के कार्यों की प्रशंसा की और कहा कि देश को ऐसे और अधिक संस्थानों की आवश्यकता है जो गरीबों के लिए काम करें।
राज्यपाल मुंबई के चेंबूर में स्थित श्री नारायण एजुकेशन कॉम्प्लेक्स में शैक्षणिक और धर्मार्थ ट्रस्ट श्री नारायण मंदिर समिति की 61वीं वर्षगांठ पर लोगों को संबोधित कर रहे थे। राज्यपाल ने कहा कि यदि श्री नारायण गुरु न होते तो केरल में सनातन धर्म जीवित नहीं रह पाता। उन्होंने कहा कि जब भी सनातन धर्म मुश्किल में पड़ा, केरल ने राष्ट्र की मदद की। कलाडी के आदि शंकराचार्य के कार्यों को याद करते हुए राज्यपाल ने कहा कि नारायण गुरु ने अपना जीवन समाज में सुधार लाने और सभी मनुष्यों के लिए समानता स्थापित करने के लिए समर्पित कर दिया।
सांसद संजय दीना पाटिल ने कहा कि श्री नारायण मंदिर समिति से उनका जुड़ाव अब तीसरी पीढ़ी में पहुंच गया है। उन्होंने कहा कि उनके दिवंगत पिता दीना पाटिल भी इस संस्था से निकटता से जुड़े थे। उन्होंने कहा कि अन्य संस्थाओं को श्री नारायण मंदिर समिति द्वारा गरीबों के लिए किए गए कार्यों से प्रेरणा लेनी चाहिए। राज्यपाल ने समिति की स्मारिका का विमोचन किया और श्री नारायण गुरु के मंदिर में पूजा-अर्चना की। इस अवसर पर श्री नारायण मंदिर समिति के अध्यक्ष एम आई दामोदरन, अध्यक्ष एन मोहनदास, राज्यपाल के उप सचिव एस. राममूर्ति, समिति के उपाध्यक्ष एस. चंद्रबाबू, महासचिव ओ के प्रसाद आदि उपस्थित थे।
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(Udaipur Kiran) यादव
