
नई दिल्ली, 6 मई (Udaipur Kiran) । केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री जगत प्रकाश नड्डा ने मंगलवार को डॉ. अंबेडकर अंतरराष्ट्रीय केंद्र में ‘स्वास्थ्य क्षेत्र आपदा तैयारी एवं प्रतिक्रिया’ तथा ‘स्वास्थ्य सुविधाओं में अग्नि सुरक्षा’ पर दूसरी राष्ट्रीय कार्यशाला का उद्घाटन किया। सभी राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों के आपदा नोडल अधिकारियों के समन्वय से ‘अग्नि सुरक्षा सप्ताह’ के समापन समारोह को संबोधित करते हुए जेपी नड्डा ने कहा कि स्वास्थ्य केन्द्रों पर नियमित रूप से अग्नि सुरक्षा ऑडिट किया जाना चाहिए। ताकि लापरवाही के लिए कोई स्थान ही न बचें। उन्होंने कहा कि यह दूसरी कार्यशाला स्वास्थ्य मंत्रालय की स्वास्थ्य सुविधाओं में आपदा और अग्नि तैयारी के प्रति प्रतिबद्धता को दर्शाती है। उन्होंने स्वास्थ्य सुविधाओं को आपदा और अग्नि घटनाओं के प्रति अधिक लचीला और प्रतिरोधी बनाने की आवश्यकता पर जोर दिया।
नड्डा ने कहा कि हमें आपदाओं को घटित न होने देने पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए ताकि निर्बाध, व्यापक और गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाएं सुनिश्चित की जा सकें। नड्डा ने कहा कि स्वास्थ्य केन्द्रों पर उच्च-भार वाले उपकरणों, ऑक्सीजन और रसायनों जैसे अत्यधिक ज्वलनशील पदार्थों के साथ काम करते हैं जो न केवल जीवन बचाते हैं, बल्कि ज्वलनशील भी होते हैं और खतरा पैदा कर सकते हैं। इसलिए, उनके प्रति अधिक संवेदनशीलता की आवश्यकता है।”
सभी हितधारकों से इस कर्तव्य में योगदान देने का आग्रह करते हुए नड्डा ने कहा कि यह जिम्मेदारी केवल शीर्ष स्तर के अधिकारियों की ही नहीं है, बल्कि जमीनी स्तर के कार्यकर्ताओं और पैरामेडिक्स की भी है। आपदा-प्रतिक्रिया के संबंध में स्वास्थ्य कर्मियों का आत्मविश्वास बढ़ाने की आवश्यकता है।
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(Udaipur Kiran) / विजयालक्ष्मी
