Madhya Pradesh

नए आपराधिक कानूनों, धाराओं और प्रक्रियाओं की जानकारी जन-जन को कराएं उपलब्ध : मुख्यमंत्री डॉ. यादव

समीक्षा बैठक लेते हुए मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव

– मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने की नवीन आपराधिक कानूनों की समीक्षा

भोपाल, 7 अप्रैल (Udaipur Kiran) । मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि वर्तमान चुनौतियों को ध्यान में रखकर बनाए गए नए आपराधिक कानून, भारतीय न्याय प्रणाली को अधिक लोकतांत्रिक बनाने की दिशा में ऐतिहासिक कदम है। सभी के लिए अधिक सुलभ, सहायक और कुशल न्याय प्रणाली सुनिश्चित करने के उद्देश्य से बने इन कानूनों और नवीन प्रक्रियाओं की जानकारी जन-जन तक पहुंचाना आवश्यक है। न्याय प्रणाली से जुड़ी सभी संस्थाओं में अद्यतन व्यवस्था सुनिश्चित करते हुए जन-सामान्य को नई धाराओं और प्रक्रियाओं से शीघ्र अतिशीघ्र अवगत कराने के लिए नए आपराधिक कानूनों के बारे में जागरूकता गतिविधियां संचालित की जाएं। यह निर्देश मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने सोमवार को मंत्रालय में नवीन आपराधिक कानूनों की समीक्षा के दौरान दिए।

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि पुलिस, जेल, अभियोजन, न्यायिक एवं फॉरेंसिक कर्मियों के बीच अद्यतन तकनीक के उपयोग का प्रशिक्षण सुनिश्चित किया जाए। सभी हितधारकों में हर स्तर पर बेहतर समन्वय जरूरी है। प्रत्येक स्तर पर आवश्यक व्यवस्था, उपकरण और भौतिक संसाधनों की उपलब्धता प्राथमिकता के आधार पर सुनिश्चित की जाएं। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि अचल सम्पत्ति संबंधी अपराधों पर नियंत्रण के लिए पुलिस के साथ राजस्व का अमला भी सजग और सतर्क रहे, साथ ही दोनों विभागों में परस्पर समन्वय भी हो। प्रदेश के नगरीय क्षेत्रों सहित जिन क्षेत्रों में भूमि की दरें तेजी से बढ़ रही है, वहां विशेष सजगता बरती जाए।

बैठक में बताया गया कि समयावधि में चालान के लिए नवीन डैशबोर्ड उपलब्ध है। ई-साक्ष्य की प्रक्रिया भी आरंभ की जा चुकी है। पुलिस थानों तक वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के लिए न्यायश्रुति सॉफ्टवेयर तैयार कर लिया गया है और थानों व कंट्रोल रूम में साउंड प्रूफ कक्ष चिन्हित किए जा रहे हैं। ऑनलाइन समन/वारंट मॉड्यूल के अंतर्गत गतिविधियां प्रगति पर हैं। पिछले तीन महीने में 50 प्रतिशत से अधिक वारंट तिथि से पहले इलेक्ट्रानिक रूप से तामील किए गए। इनकी मॉनीटरिंग के लिए सभी जिलों में सेल गठित किए जा चुके हैं। डिजिटल इन्वेस्टिगेशन केलिए टेबलेट्स और लाइव स्कैनर थानों को उपलब्ध कराए जा रहे हैं। बैठक में डिजिटल धोखाधड़ी, डेटा चोरी जैसे सायबर अपराधों के बारे में जागरूकता के लिए की गई पहल की भी जानकारी दी गई।

बैठक में मुख्य सचिव अनुराग जैन, अपर मुख्य सचिव डॉ. राजेश राजौरा, अपर मुख्य सचिव गृह जे.एन. कंसोटिया, पुलिस महानिदेशक कैलाश मकवाना सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

(Udaipur Kiran) / उम्मेद सिंह रावत

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