Madhya Pradesh

मध्यम और कमजोर वर्ग के आवासों का निर्माण हाउसिंग बोर्ड की प्राथमिकताः विजयवर्गीय

नगरीय विकास एवं आवास मंत्री ने की विभागीय समीक्षा

नगरीय विकास एवं आवास मंत्री ने की विभागीय समीक्षा, कहा-समयबद्ध और गुणवत्तापूर्ण निर्माण से बोर्ड और मजबूत करे अपनी साख

भोपाल, 25 मार्च (Udaipur Kiran) । नगरीय विकास एवं आवास मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने मध्य प्रदेश हाऊसिंग बोर्ड के अधिकारियों को निर्देश दिये हैं कि बोर्ड समाज के मध्यम और कमजोर वर्ग के आवासों की आवश्यकता को पूरा करने को प्राथमिकता दें। उन्होंने कहा कि बोर्ड अपने कामों की गुणवत्ता से आम जनता के बीच में अपनी साख को और मजबूत करे। उन्होंने कहा कि बोर्ड अपने प्रत्येक प्रोजेक्ट की गहन समीक्षा करे और इसे नियत टाइम फ्रेम में पूरा किया जाए।

मंत्री विजयवर्गीय मंगलवार को भोपाल में मध्य प्रदेश गृह निर्माण एवं अधोसंरचना विकास मण्डल के निर्माण कार्यों की बैठक में समीक्षा कर रहे थे। बैठक में अपर मुख्य सचिव नगरीय विकास एवं आवास संजय शुक्ला भी मौजूद थे। मंत्री विजयवर्गीय द्वारा अगले 2 माह में बोर्ड की पुन: समीक्षा की जायेगी।

मंत्री विजयवर्गीय ने कहा कि बोर्ड के कॉमर्शियल परिसर के समय पर पूरा होने पर क्षेत्र में आर्थिक गतिविधियां बढ़ेंगी और युवाओं को रोजगार प्राप्त होगा। उन्होंने कहा कि बोर्ड की योजनाओं में विभिन्न एजेंसियों के बीच में किसी तरह की देरी होती है, उसे उनके द्वारा दूर करने का ठोस प्रयास किया जायेगा। बोर्ड जिन आवासीय और व्यावसायिक परिसरों का विकास करता है, भविष्य में वे अच्छी तरह मेंटेन रहें, इसके लिये मेकेनिजम तैयार किया जाये। उन्होंने कहा कि जिन परिसरों का विकास बोर्ड द्वारा किया जाये, उनका नामकरण महान हस्तियों के नाम पर किया जाये।

इंदौर में बनेगा आइकॉनिक व्यावसायिक टॉवर, हुकुमचंद मिल परिसर का होगा कायाकल्प

विजयवर्गीय ने कहा कि इंदौर के हुकुमचंद मिल परिसर में बनने वाला व्यावसायिक टॉवर आइकॉनिक हो, इसका ध्यान रखा जाये। बैठक में बताया गया कि हाऊसिंग बोर्ड द्वारा पिछले 5 वर्षों में 815 करोड़ रुपये की संपत्तियों का विक्रय गया है। हाऊसिंग बोर्ड द्वारा अब तक प्रदेश में 3 लाख 50 हजार से अधिक आवास इकाइयां विकसित की जा चुकी हैं। बैठक में आवासीय, अटल आश्रय, पुनर्घनत्वीकरण (री-डेंसिफिकेशन), पुनर्निमाण (री-डेवलेपमेंट)) और सु-राज योजना की समीक्षा की गई। बैठक में बताया गया कि प्रदेश में पुनर्घनत्वीकरण की 106 योजनाएं, जिनकी निर्माण लागत 5 हजार 770 करोड़ रुपये के करीब है, इन पर काम चल रहा है।

अपर मुख्य सचिव संजय शुक्ला ने बताया कि हाऊसिंग बोर्ड की कार्य क्षमता बढ़ाने के लिये रिक्त पदों पर विभिन्न एजेंसियों के माध्यम से भर्ती किये जाने के प्रयास किये जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि बोर्ड के परिसर को हरा-भरा रखने के लिये पौध-रोपण पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। अपर मुख्य सचिव ने बताया कि बोर्ड की मार्केटिंग प्रणाली को मजबूत करने के लिये भी प्रायवेट एजेंसी का सहयोग लेने का प्रस्ताव तैयार किया जा रहा है।

(Udaipur Kiran) तोमर

Most Popular

To Top