
उधमपुर, 4 मार्च (Udaipur Kiran) । नेशनल कॉन्फ्रेंस, कांग्रेस और पीडीपी द्वारा हाल ही में राज्य का दर्जा दिए जाने की मांग करना, अपने झूठे वादों और अपने कुकर्मों से ध्यान हटाने की एक हताश कोशिश है। इन पार्टियों के लिए यह जरूरी है कि वे आत्मचिंतन करें और जम्मू-कश्मीर के राज्य का दर्जा खोने में अपनी भूमिका को स्वीकार करें। यह बातें ऊधमपुर जिले के प्रभारी पवन शर्मा ने कहीं। एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर उन्होंने कहा कि
दशकों से इन पार्टियों ने क्षेत्र के संसाधनों का दोहन किया है, लोगों की आकांक्षाओं को नजरअंदाज किया है और भ्रष्टाचार और भाई-भतीजावाद की संस्कृति को बढ़ावा दिया। उनके कुशासन के कारण व्यापक असंतोष, आर्थिक गतिरोध और सामाजिक अशांति फैली है।
आम जनता के कल्याण के लिए काम करने के बजाय, उन्होंने अपने परिवारों और राजनीतिक वंशों को मजबूत करने पर ध्यान केंद्रित किया जिससे जनता को परेशानी उठानी पड़ी। उनकी अक्षमता और स्वार्थी दृष्टिकोण ने क्षेत्र को पिछड़ा, विकास से वंचित रखा और अलगाववाद और उग्रवाद को बढ़ावा दिया।
दूसरी ओर भाजपा ने हमेशा जम्मू-कश्मीर के लोगों के कल्याण को प्राथमिकता दी है। हमने क्षेत्र में विकास, सुशासन और सामाजिक न्याय को बढ़ावा देने के लिए अथक प्रयास किए हैं। उन्होंने आगे जोर देकर कहा कि अनुच्छेद 370 को हटाने और जम्मू-कश्मीर को केंद्र शासित प्रदेश के रूप में पुनर्गठित करने के बाद, केंद्र सरकार ने समाज की बेहतरी और सशक्तिकरण के लिए ऐतिहासिक कदम उठाए हैं। आतंकवाद और अलगाववाद के अब तक के सबसे निचले स्तर पर होने के बावजूद विकास परियोजनाएं तेजी से आगे बढ़ रही हैं और लोग शांति और समृद्धि का अनुभव कर रहे हैं। पवन शर्मा ने जोर देकर कहा कि केंद्रीय नेतृत्व बुद्धिमान है और लोगों के हितों को ध्यान में रखते हुए उचित समय पर राज्य का दर्जा बहाल करने में सक्षम है।
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(Udaipur Kiran) / रमेश गुप्ता
