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सरकार ने गेहूं कीमतों को काबू में रखने के लिए भंडारण सीमा किया सख्त
नई दिल्ली, 20 फरवरी (Udaipur Kiran) । केंद्र सरकार ने गुरुवार को गेहूं की कीमतों पर नियंत्रण के लिए सख्त कदम उठाया है। सरकार ने गेहूं के थोक व्यापारियों के लिए स्टॉक की सीमा 1,000 टन से घटाकर 250 टन कर दिया है। इसके साथ ही सरकार ने दावा किया है कि देश में खाद्यान्न का पर्याप्त भंडार है।
उपभोक्ता मामले, खाद्य एवं सार्वजनिक वितरण मंत्रालय ने जारी एक बयान में बताया कि केंद्र सरकार ने ‘‘गेहूं की कीमतों को नियंत्रण में रखने के लिए 31 मार्च, 2025 तक लागू गेहूं की भंडारण सीमा को संशोधित करने का फैसला किया है।’’
मंत्रालय ने कहा कि 31 मार्च तक लागू रहने वाली संशोधित भंडारण सीमा के मुताबिक व्यापारी/थोक विक्रेता केवल 250 टन गेहूं रख सकते हैं। पहले यह सीमा 1,000 टन थी। वहीं, खुदरा विक्रेताओं के लिए भंडारण की सामा को पांच टन से घटाकर 4 टन कर दिया गया है।
इसी तरह गेहूं का प्रसंस्करण करने वाले अप्रैल, 2025 तक मासिक स्थापित क्षमता (एमआईसी) का 50 फीसदी रख सकते हैं। मंत्रालय के मुताबिक गेहूं का भंडारण करने वाली सभी इकाइयों को गेहूं भंडार सीमा पोर्टल पर पंजीकरण करना और हर शुक्रवार को भंडार की स्थिति की जानकारी देना अनिवार्य है।
खाद्य एवं सार्वजनिक वितरण मंत्रालय ने कहा कि वह देश में कीमतों को नियंत्रित करने और उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए गेहूं के भंडार की स्थिति पर कड़ी नजर रख रहा है। गेहूं की नई फसल की कटाई मार्च के अंत से शुरू होती है।
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(Udaipur Kiran) / प्रजेश शंकर
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